कहते हैं उम्र सिर्फ़ एक संख्या है, जिदंगी में कुछ भी करना हो तो उसके लिए उम्र मायने नहीं रखती। ऐसी ही एक मिसाल पेश की है बिहार की उर्मिला देवी ने जो आज पूरे राज्य में उन युवाओं और महिलाओं को प्रेरित कर रही हैं जो जिदंगी में कुछ आगे बढ़ने के लिए अपनी उम्र को रूकावट समझते हैं।
लोगों के लिए 'दादी मुखियाबाई' है उर्मिला देवी
दरअसल, बिहार की रहने वाले 90 साल की सुपर दादी उर्मिला देवी दूसरी बार बिहार के पचांयत चुनाव लड़ने वाली हैं। एक रिपोर्ट के अनुसार, उर्मिला देवी में युवाओं सी उर्जा हैं और वो अक़सर घर से बाहर ही रहती हैं और अपने काम काज खुद करती हैं। बता दें कि 90 साल की उर्मिला देवी अपने बेटे दयानंद के साथ वो लोगों से मिलती हैं और उनकी परेशानियों को दूर करती है। उर्मिला देवी को लोग प्यार से 'दादी मुखियाबाई' कहते हैं।
कहीं झगड़ा होता तो निपटारा करने पहुंच जाती हैं उर्मिला देवी
गांव में जब भी कहीं झगड़ा होता तो मैं उर्मिला देवी वहां पहुंचकर झगड़े का निपटारा करती हैं। उर्मिला देवी का कहना है कि वो दादी के जैसे ही गांव का ख़याल रखना चाहती हैं। बता दें कि इस समय सोशल मीडिया पर भी उर्मिला देवी छाई हुई हैं। लोग उनकी हिम्मत और जज़्बे को सलाम कर रहे हैं।
जानकारी के लिए बता दें कि उर्मिला देवी अभी ज़िला रोहतास के हथिनी गांव की मुखिया हैं। वह पहली बार वे 85 की उम्र में मुखिया बनीं थी और अब वह 90 साल की उम्र में दूसरी बार चुनाव लड़ने के लए तैयार हैं।
7वीं तक पढ़ी हैं उर्मिला देवी
उनकी शिक्षा की बात करें तो उर्मिला देवी 7वीं तक पढ़ी हैं लेकिन उन्हें सभी सरकारी स्कीम्स की जानकारी है। 24 सितंबर को बिहार में पंचायत चुनाव होने वाले हैं ऐसे में उर्मिला देवी महिला सशक्तिकरण का बहुत ही खूबसूरत उदाहरण हैं।