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पहली बार रखने जा रही हैं बृहस्पतिवार व्रत तो इस विधि से करें पूजा, बरसेगी भगवान विष्णु की कृपा

  • Edited By Charanjeet Kaur,
  • Updated: 17 May, 2023 06:17 PM
पहली बार रखने जा रही हैं बृहस्पतिवार व्रत तो इस विधि से करें पूजा, बरसेगी भगवान विष्णु की कृपा

हिंदू धर्म में हर दिन किसी-न-किसी देवी देवता को समर्पित है, जिस तरह सोमवार का दिन भगवान शिव जी और मंगलवार का हनुमान जी को समर्पित है, उसी तरह से गुरूवार का दिन भगवान श्री हरि विष्णु की पूजा का विधान है। गुरुवार का व्रत बड़ा ही फलदायी माना जाता है। ऐसी मान्यता है कि इस दिन भगवान विष्णु की पूजा-अर्चना और व्रत रखने से भगवान प्रसन्न होते हैं और भक्तों पर कृपा बरसाते हैं। माना जाता है गुरुवार के दिन व्रत करने और कथा सुनने से घर-परिवार में सुख-समृद्धि बनी रहती है। ग्रंथों में उल्लेख है कि अगर व्रत के दिन नियमों का पालन न किया जाए तो भगवान श्री हरि विष्णु नाराज भी हो जाते हैं। ऐसे में इन चीजों का हमेशा ध्यान रखें...

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गुरूवार व्रत की विधि

गुरुवार के दिन जल्दी उठकर नित्यकर्म और स्नान करें।
इसके बाद पूजा घर या केले के पेड़ की  नीचे भगवान श्री हरि विष्णु की प्रतिमा या फोटो रखकर उन्हें प्रणाम करें।
कोई मया छोटा सा पीला वस्त्र भगवान को अर्पित करें।हाथ में चावल और पवित्र जल लेकर व्रत का संकल्प लें।
एक लोटे में पानी और हल्दी डालकर पूजा के स्थान पर रखें।
भगवान को गुड़ और धुली चने की दाल का भोग लगाएं।
गुरुवार व्रत की कथा का पाठ करें।
भगवान को प्रणाम करें और हल्दी वाला पानी केले की जड़ या किसी अन्य पौधे की जड़ों में डालें।

गुरूवार व्रत रखते हुए इन बातों का रखें ध्यान

अगर आप पहली बार गुरुवार का व्रत रखने जा रहे हैं तो आपको उस गुरुवार का चयन करना चाहिए, जिस दिन पुष्य नक्षत्र हो। अगर ये संभव न हो पाये तो किसी भी मास के शुक्ल पक्ष के पहले गुरुवार से यह व्रत की शुरुआत कर सकते हैं।

 इस बात का ख्याल रखें कि जब भी व्रत प्रारंभ करने जा रहे हो, तो उस दौरान पौष माह न हो।

अगर आप गुरुवार के दिन भगवान विष्णु की पूजा करते हैं तो उस दिन केले का सेवन भूलकर भी न करें।हिंदू धर्म के अनुसार, केले के पेड़ में भगवान श्री हरि विष्णु का वास माना जाता है, इसलिए गुरुवार के दिन केले के पेड़ पर जल अर्पित करें। उसका विधि-विधान से पूजन करें।

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अगर हो सके तो गुरुवार के दिन उड़द की दाल व चावल के सेवन से परहेज करना चाहिए।

वहीं, माना जाता है कि गुरुवार के दिन बाल, नाखून नहीं कटवाने चाहिए। इसके साथ ही इस दिन कपड़े धोने व सिर धोने आदि की भी मनाही होती है।

पूजा के दौरान पीले कपड़े पहनने की कोशिश करें। पीले फल और पीले फूल भगवान श्री हरि विष्णु और गुरु बृहस्पति को बेहद प्रिय हैं, इसलिए पूजा के दौरान ये चीजें जरूर अर्पित करें।

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जिस तरह से 16 सोमवार का व्रत रखा जाता है, ठीक उसी प्रकार 16 गुरुवार को भी व्रत रखे जाते हैं।

मान्यता है कि गुरुवार के दिन भगवान विष्णु की पूजा आराधना करने के बाद गुड़, पीला कपड़ा, चने की दाल और केला भगवान को अर्पित करने के बाद गरीबों में दान देना चाहिए। कहते हैं इससे भगवान विष्णु की कृपा दृष्टि बनी रहती है।
 

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