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टोक्यो ओलंपिक में भारत की अकेली Weightlifter, क्या मीराबाई चानू दिलाएंगी गोल्ड मेडल?

  • Edited By Anjali Rajput,
  • Updated: 23 Jul, 2021 10:24 AM
टोक्यो ओलंपिक में भारत की अकेली Weightlifter, क्या मीराबाई चानू दिलाएंगी गोल्ड मेडल?

मीराबाई चानू ने भारत की उम्मीदें बढ़ा दी हैं क्योंकि वह 2000 के बाद टोक्यो ओलंपिक-2020 में पदक जीतने वाली पहली वेटलिफ्टर बनने की संभावना रखती है। चानू ने भारत की तरफ से वुमन 49kg वर्ग में टोक्यो ओलिंपिक के लिए क्वालिफाई किया है। बता दें कि वह क्लीन एंड जर्क केटेगरी में वर्ल्ड रिकॉर्ड अपने नाम कर चुकी हैं। यही वजह है कि भारत को मीराबाई से काफी उम्मीदें है कि वो देश के नाम गोल्ड मेडल कर सकती हैं।

कौन है मीराबाई चानू?

मीराबाई का जन्म 8 अगस्त 1994 को नोंगपोक काकचिंग, इंफाल, मणिपुर में एक मैतेई हिंदू परिवार में हुआ था। उसके परिवार ने कम उम्र से ही उसकी ताकत की पहचान कर ली थी जब वह सिर्फ 12 साल की थी। वह आसानी से जलाऊ लकड़ी का एक बड़ा बंडल अपने घर ले जा सकती थी जिसे उसके बड़े भाई को उठाना भी मुश्किल था।

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रियो में रही असफल

21 साल की उम्र में, वह एन कुंजारानी देवी के 192 किग्रा की संयुक्त लिफ्ट के साथ 190 किग्रा भार उठाने के रिकॉर्ड को तोड़ने के बाद रियो 2016 गई थीं लेकिन वह असफल रहीं। उन्होंने रियो ओलिम्पिक स्नैच इवेंट में 82kg वजन उठाकर तीसरा स्थान प्राप्त किया लेकिन वो क्लीन एंड जर्क में पहले प्रयास में 103kg वजन उठाने में असफल रहीं। हालांकि दूसरे प्रयास में 3kg अधिक वजन की चुनौती रखी लेकिन वो उसमें भी कारगर नहीं हुई और तीसरे प्रयास में भी वजन न उठाने के कारण वो डिस्क्वॉलीफाई हो गईं।

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अगले साल जीती वर्ल्ड चैंपियनशिप

इसके बाद वह काफी समय तक डिप्रेशन में रही। हालांकि ताशकंत में हुई एशियाई चैम्पियनशिप में उन्होंने 119kg वजन उठाकर सबको हैरान कर दिया। स्नैच में वह 86kg वजन उठाने में सफल रही थीं। इस तरह उन्होंने कुल 207kg वजन उठाया। उन्होंने वर्ल्ड चैंपियनशिप जीती थी और तब से वह लगातार शानदार प्रदर्शन दिखा रही हैं। IWF की रैकिंग सूची के आधार पर वह 49kg वर्ग में दूसरे स्थान पर है।

जीत चुकी हैं कई मेडल

चानू ने 2014 राष्ट्रमंडल खेलों, ग्लासगो में महिलाओं के 48 किलोग्राम भार वर्ग में रजत पदक जीता था। उन्होंने गोल्ड कोस्ट में आयोजित कार्यक्रम के 2018 संस्करण में स्वर्ण पदक के रास्ते में खेलों के रिकॉर्ड को तोड़ दिया। उनकी सबसे बड़ी उपलब्धि 2017 में आई जब उन्होंने संयुक्त राज्य अमेरिका के अनाहेम में आयोजित विश्व वेटलिफ्टिंग चैंपियनशिप में स्वर्ण पदक जीता।

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पद्मश्री और कई खेलों से सम्मानित

2014 से 48kg वर्ग में अंतरराष्ट्रीय स्पर्धाओं में नियमित उपस्थिति चानू ने राष्ट्रमंडल खेलों में विश्व चैंपियनशिप और कई पदक जीते हैं। खेल में उनके योगदान के लिए उन्हें भारत सरकार द्वारा पद्मश्री से सम्मानित किया गया था। उन्हें वर्ष 2018 में भारत सरकार द्वारा राजीव गांधी खेल रत्न पुरस्कार से सम्मानित किया गया।

भारत के पास एक ही वेटलिफ्टिंग में एक ही गोल्ड मेडल

ओलिम्पिक वेटलिफ्टिंग में भारत के पास फिलहाल एक ही मेडल है, जो कर्णम मल्लेश्वरी ने 2000 में सिडनी में हुए ओलिम्पिक खेलों में प्राप्त किया था वह देश के लिए व्यक्तिगत मेडल जीतने वाले पहली महिला खिलाड़ी रहीं। यही वजह है कि चानू से देश को काफी उम्मीदें हैं।

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