सर्दियों में गठिया दर्द की समस्या काफी देखने को मिलती है, जिसका एक कारण फिजिकल एक्टिविटी की कमी, सही पोषण ना मिलना भी है। गाउट गठिया का एक रूप है जो जोड़ों में सूजन और दर्द का कारण बनता है। यह घुटनों, टखनों और पैर की उंगलियों में हो सकता है। यह कलाई, कान और हाथों में छोटे जोड़ों जैसे हिस्सों को भी प्रभावित कर सकता है। गाउट तब होता है जब शरीर बहुत अधिक यूरिक एसिड की मात्रा बढ़ जाती है। यूरिक एसिड जोड़ों में जमा हो जाता है और सूजन, बेचैनी और दर्द का कारण बनता है।
परेशान ना हो क्योंकि यहां हम आपको कुछ घरेलू नुस्खे बताएंगे, जिससे आप सर्दियों में भी गठिया दर्द की समस्या बच सकते हैं।
1. अदरक
चाय, सूप, सब्जी और मिठाइयों में स्वाद बढ़ाने के अलावा, अदरक गठिया के लक्षणों को कम करने में भी मदद कर सकता है। एक अध्ययन के अनुसार, अदरक के अर्क को लेने से गठिए का दर्द 63% तक कम हो जाता है। अदरक का ताजा, पाउडर या सूखे रूप में सेवन करने से सूजन कम हो सकती है। इससे गठिया के लक्षणों को कम करने में मदद मिल सकती है।
2. लहसुन और अन्य जड़ वाली सब्जियां
लहसुन, प्याज और हल्दी में एंटी-इंफ्लेमेटरी गुण होते हैं। अध्ययन के मुताबिक, ये तीखी जड़ वाली सब्जियां गठिया और अन्य जोड़ों के दर्द के लक्षणों के उपचार में उपयोगी हो सकती हैं। अतिरिक्त स्वाद के लिए इन सब्जियों को भोजन में शामिल करें। सुबह खाली पेट लहसुन खाने से मदद मिलेगी।
3. जैतून तेल
आपकी डाइट में सही तेल का होना बहुत आवश्यक है। वनस्पति तेल (vegetable oil), सनफ्लावर ऑयल (sunflower oil) और मूंगफली के तेल (peanut oil) को अपनी डाइट से बाहर करें। यह सूजन के जोखिम को बढ़ाता है। इनका स्वस्थ विकल्प है जैतून का तेल (olive oil)। इस तेल को अपने सलाद की ड्रेसिंग (salad dressing) या खाना पकाने (cooking oil) के लिए करें। यह हेल्दी फैट (healthy fat) प्रदान करता हैं और ओमेगा-3 (omega-3) का बेहतर स्रोत है।
फैटी फिश खाएं
फैटी फिश जैसे साल्मन, मैकेरल (makceral), सार्डिन (sardin) और ट्राउट (trout) ओमेगा -3 फैटी एसिड के बेहतरीन स्त्रोत है। इसमें एंटी इंफ्लेमेटरी और विटामिन डी (vitamin D) भी होता है, जो हड्डियों को मजबूत करने में मदद कर सकता है। शोध के मुताबिक, फैटी फिश का सेवन रुमेटीइड अर्थराइटिसवको करने में मदद करता है।
आर्थराइटिस (गठिए) से कैसे बचें ?
. मोटापा पर अपना नियंत्रण रखें। वजन को बढ़ने ना दें।
. जड़ों वाली फल सब्जियां जैसे गाजर, शकरकंद और अदरक आदि।
. लहसुन का सेवन करें। खाली पेट 2-3 कलियां जरूर लें।
. भरपूर पानी पीएं।
. हाई प्रोटीन डाइट ना लें।
. कैस्टर ऑयल की मसाज करें।
. हल्की-फुल्की एक्सरसाइज जरूर करें।
. शराब का सेवन कम करने से गाउट का खतरा कम हो सकता है।