मुंह या सांसों से बदबू आना बेहद आम समस्या है, जिससे लगभग हर व्यक्ति को कभी ना कभी दो-चार होना पड़ता है। हालांकि कुछ लोगों को रोजाना इस परेशानी का सामना करना पड़ता है, जिसे मेडिकल भाषा में हेलिटोसिस (Halitosis) भी कहा जाता है। वहीं, कुछ मामलों में मुंह से बदबू आना किसी बीमारी का संकेत भी हो सकती है।
मुंह में बैक्टीरियल इम्बैलेंस
सैकड़ों गुड़ व बैड बैक्टीरिया होते हैं, जो भोजन के पाचन में सहायता करते हैं। मगर, कई बार अच्छी तरह सफाई ना करने से बदबू वाले बैक्टिरिया की संख्या बढ़ जाती है और बदबू आने लगती है।
खराब डेंटल हाइजीन
भोजन करने या कुछ भी खाने-पीने के बाद दांत प्लाक नामक बैक्टीरिया की परत से ढक जाते हैं। अगर इनकी ठीक ढंग से सफाई ना की जाए तो ना सिर्फ मुंह से बदबू बल्कि कई बीमारियों का कारण भी बन सकते हैं।
डायबिटीज का संकेत
डायबिटीज के कारण मुंह से एसिटोन जैसी बदबू आ सकती है। दरअसल, मधुमेह से शरीर में ग्लूकोज की कमी हो जाती है और कीटोन्स की मात्रा बढ़ जाती है, जिससे सांसों से ऐसी बदबू आ सकती है।
फेफड़े, साइनस या वायुमार्ग में इंफेक्शन
इंफेक्शन के कारण फेफड़ों में जमा हुआ बलगम जब बाहर आता है तो मुंह से बदबू आ सकती है। इसके अलावा साइनस या वायुमार्ग में इंफेक्शन के कारण भी यह दिक्कत हो सकती है।
लिवर की बीमारी
जब लिवर सही से काम नहीं करता तो ब्लड स्ट्रीम में टॉक्सिन जमा हो जाते हैं, जो मुंह में बदबू वाले बैक्टीरिया पैदा कर देते हैं। इसके अलावा लिवर में इंफेक्शन के कारण अपच की समस्या हो जाती है, जिसकी वजह से मुंह से बदबू आ सकती है।
किडनी की बीमारी
किडनी, यूरिया को फिल्टर करती है लेकिन किसी बीमारी के कारण जब वो ऐसा नहीं कर पाती तो मुंह से बदबू आने लगती है।
मसूड़ों की बीमारी
मसूड़ों में दिक्कत होने की वजह से पेरिओडोन्टिक नामक बीमारी होने लगती है, जो मुंह की बदबू को जन्म देती है।
ड्राई माउथ
मुंह को साफ करने का काम सलाइवा का होता है। मगर, मुंह सूखा होने के कारण सलाइवा कम बनता है , जिससे बैक्टीरिया जमा होकर बदबू को जन्म देते हैं। इससे बचने के लिए जितना हो सके पानी पीएं, ताकि मुंह सूखा ना रहें।