बढ़ते प्रदूषण और तनावभरी जिंदगी में लोगों को कई तरह की परेशानी हो रही है। हवा में सांस लेना भी मुश्किल हो रहा है। यही वजह है कि बच्चों से लेकर बड़ों सभी को सांस से जुड़ी बीमारियां हो रही हैं। जरा सा कुछ करें कि सांस फूलने लगती है। कई बार खान-पान की लापरवाही से भी सांस की समस्या बढ़ जाती है। ऐसे में आप अस्थमा का शिकार हो सकते हैं। लेकिन खान-पान से जुड़ी आदतों में बदलाव करके और कुछ चीजों से परहेज इससे राहत पा सकते हैं। जानते हैं अस्थमा के मरीज को कौन सी चीजें नहीं खानी चाहिए......
दूध
वैसे तो दूध बहुत फायदेमंद होता है लेकिन अस्थमा के पेशेंट के लिए नुकसानदेह माना जाता है। कई बार दूध पीने बाद, सांस के मरीजों को खासी, गले में तकलीफ और सांस लेने में दिक्कत महसूस होती है। इसलिए दूध का सेवन भी न करें तो अच्छा है।
अल्कोहल
शराब और बियर दोनों में ही सल्फाइट मौजूद होता है जो सांस लेने में दिक्कत करता है। इसलिए अस्थमा पेशेंट को शराब और बियर दोनों का ही सेवन बिलकुल नहीं करना चाहिए।
नमक
हमेशा कहा जाता हैं न कि ज्यादा मात्रा में कोई भी चीज सेहत के लिए खराब ही साबित होती है। ठीक उसी तरह से ज्यादा नमक भी शरीर को नुकसान पहुंचाता है। नमक के सेवन से गले में सूजन आती है, जिसकी वजह से सांस लेने में दिक्कत आती है।
अंडे
अंडे में कुछ ऐसे तत्त्व मौजूद होते है जिसके कारण फेफड़ो में तकलीफ होने लगती है। इसलिए सांस के मरीजों को अंडे खाना बिल्कुल मना होता है।
सोया
सोया भी कई बार एलर्जी का कारण बनता है। अस्थमा पेशेंट के लिए किसी भी चीज से एलर्जी ही सबसे ज़्यादा नुकसानदायक साबित होती है। आपको सोच समझ ही सोया का सेवन करना चाहिए।
मछली
जो लोग नॉनवेज नहीं खाते उनके लिए तो सही है, लेकिन नॉनवेज खाने वालों को फिश यानि मछली का सेवन एकदम बंद कर देना चाहिए। अस्थमा के मरीज को मछली से परहेज करने की सलाह दी जाती है।
प्रोस्टेड फूड
पैक्ड और प्रोस्टेड फूड का ज्यादा सेवन अस्थमा की समस्या को बढ़ा सकता है।
फास्ट फूड
फास्ट फूड का सेवन करने से 37 प्रतिशत तक ज्यादा अस्थमा का खतरा हो सकता है।
अचार
मार्केट में मिलने वाले आचार में सल्फाइट का इस्तेमाल किया जाता है, जो अस्थमा की समस्या को बढ़ा सकता है।
पनीर
अगर आपको फंगस से एलर्जी है तो पनीर का सेवन न करें, इससे अस्थमा की समस्या बढ़ सकती है।