जम्मू-कश्मीर में चिनाब नदी पर पेरिस के एफिल टॉवर से भी ऊंचा पुल बन रहा है। इसकी ऊंचाई 359 मीटर और लंबाई 1.315 किलोमीटर है। यह जल्द ही तैयार होकर रेल यातायात के लिए चालू होने वाला है। 35,000 करोड़ रुपये का उधमपुर-श्रीनगर-बारामूला रेलवे लिंक (USBRL) प्रोजेक्ट का हिस्सा है। लगभग 1,400 करोड़ रुपये की लागत से बना यह पुल हाल के इतिहास में भारत में किसी भी रेलवे परियोजना के सामने आने वाली सबसे बड़ी सिविल इंजीनियरिंग चुनौती है। यह दुनिया का सबसे ऊंचा रेलवे ब्रिज भी होगा....
बता दें कि पुल निर्माण को 2004 में मंजूरी दी गई थी लेकिन खराब मौसम की वजह से इसमें देरी हुई। कहा जाता है कि इस परियोजना को पूरा करने की कई तय समय सीमा सालों से क्रॉस हो चुकी है। यह टेक्ला नामक एक सॉफ्टवेयर द्वारा डिजाइन किया गया है।
पुल में एक उच्च श्रेणी का संरचनात्मक स्टील है जो शून्य से माइनस 40 डिग्री सेल्सियस तक के तापमान का सामना कर सकता है। भारतीय रेल मंत्रालय ने हाल ही में पुल की कुछ शानदार तस्वीरें शेयर कीं। रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव ने पुल का निरीक्षण किया और घोषणा की कि मोटर ट्रॉली चलाने और बोलेरो अनुकूलित रेल संचालन के दो और परीक्षण होंगे।
अब तक कई सुरक्षा जांच की गई हैं। इनमें उच्च रफ्तार से चलने वाली हवाओं का परीक्षण अत्यधिक तापमान का परीक्षण, भूकंप-प्रवण परीक्षण और जल स्तर में वृद्धि के कारण हाइड्रोलॉजिकल प्रभाव शामिल हैं। दुनिया के सबसे ऊंचे पुल को इंजीनियरिंग का चमत्कार बताते हुए मंत्री ने कहा कि चिनाब पुल का काम तेजी से चल रहा है।
खबरों की मानें तो भारत में सबसे लंबी रेलवे सुरंग (12.75 किमी) के अलावा, यूएसबीआरएल परियोजना देश में पहले केबल-स्टे ब्रिज होने का भी दावा किया गया है, रेल मंत्री के मुताबिक सितंबर 2023 तक अंजी ब्रिज भी इस्तेमाल के लिए तैयार हो जाएगा।