आज (31 अक्टूबर) सरदार वल्लभ भाई पटेल की 146वीं जयंती है। वे भारत के पहले उप-प्रधानमंत्री और गृह मंत्री रह चुके हैं। उन्होंने स्वतंत्रता प्राप्ति के बाद भारत को एक राष्ट्र बनाने में अहम भूमिका निभाई थी। उनके द्वारा किए साहसिक कार्यों के चलते उन्हें लौह पुरुष कहा का दर्जा प्राप्त हुआ था। हर साल 31 अक्टूबर यानि उनकी जयंती के खास दिन को राष्ट्रीय एकता दिवस (National Unity Day) के रूप में मनाया जाता है।
सरदार पटेल जी के अनमोल विचार आज भी देशभर के लाखों को प्रेरणा देते हैं। उनके विचारों अपनी जिंदगी में अपनाकर युवाओं का जीवन बदल यानि सुधर सकता है। चलिए आज हम आपको सरदार वल्लभ भाई पटेल की जयंती के अवसर पर उनके कुछ खास अनमोल विचारों के बारे में बताते हैं...
- मानव को क्रोध नहीं शांति से काम लेना चाहिए। लोहा भले ही गर्म हो मगर हथौड़े को ठंडा ही रहना चाहिए। नहीं तो वह खुद को जला लेना। कोई भी राज्य अपनी प्रजा को कितना ही गर्म क्यों न हो अंत उसे ठंडा होना ही होगा।
- हमें दुनिया में फैले इस ऊंच-नीच, अमीर-गरीब, जाति-पंथ के भेदभावों को समाप्त करना चाहिए।
- शक्ति के बिना विश्वास करना व्यर्थ है। असल में, विश्वास और शक्ति दोनों किसी भी अहम काम को करने के लिए जरूरी है।
- जनता के एकजुट होने पर उसके सामने क्रूर से क्रूर शासन भी नहीं टिक पाता है। ऐसे में जात-पात, ऊंच-नीच आदि इस भेदभाव को भुलाकर हम सब को एक हो जाना चाहिए।
- आपकी अच्छाई में आपके रास्ते में रुकावट डाल सकती है। इसलिए अपनी आंखों को गुस्से से लाल होने दें और खुद के साथ हो रहे अन्याय का मजबूत हाथों से सामना करें।
- आपको खुद का अपमान सहने की भी कला आना जरूरी है।
- कठोर से कठोर दिल को भी प्यार से काबू में किया जा सकता है। प्यार तो प्यार होता है। असल में, एक मां को अपना काना-कुबड़ा बच्चा भी दुनिया में सबसे सुंदर लगता है। ऐसे में वे अपने बच्चे से असीम प्यार करती है।
- अगर हमारी सारी संपति भी हाथों से चली जाए या हमारा पूरा जीवन बलिदान हो जाए तब भी भगवान रखना चाहिए। हमेशा सत्य पर विश्वास रखकर खुश रहना चाहिए। साथ ही सही राह पर चलना चाहिए।