हर साल 8 मार्च को विश्वभर में अंतरराष्ट्रीय महिला दिवस मनाया जाता है, जिसका मकसद महिलाओं के हक और उनसे जुड़ी समस्याओं पर ध्यान देना होता है। यह दिन महिला सशक्तिकरण और लैंगिक समानता के बारे में जागरूकता भी फैलाता है। हर साल महिला दिवस पर एक नई और अलग थीम रखी जाती है इस साल की थीम महिला-पुरुष समानता यानि लैंगिंग समानता पर रखी गई है।
क्या है साल 2022 की वुमन्स डे थीम?
इस बार अंतरराष्ट्रीय महिला दिवस की थीम "जेंडर इक्वेलिटी टुडे फॉर ए सस्टेनेबल टुमॉरो" (Gender equality today for a sustainable Tomorrow) है, जिसका मकसद महिलाओं व पुरुषों के हक पर बात करना है। इस बार महिला दिवस का रंग पर्पल, ग्रीन और सफेद रखा गया है, जो न्याय-गरिमा, हरा रंग उम्मीद और सफेद रंग शुद्धता का प्रतीक माना जाता है।
जलवायु संकट और लैंगिग समानता सबसे बड़ी चुनौतियां
जलवायु संकट और आपदा जोखिम में कमी के लिए लैंगिक समानता को आगे बढ़ाना 21वीं सदी की सबसे बड़ी वैश्विक चुनौतियों में से एक है। जलवायु संकट और लैंगिक असमानता विश्व के दो प्रमुख मुद्दे हैं। लैंगिक समानता को आगे बढ़ाने और एक ही समय में जलवायु परिवर्तन से निपटने का वैश्विक प्रयास 21वीं सदी में मानवता के लिए सबसे बड़ी चुनौतियों में से एक है। आंकड़े बताते हैं कि जलवायु परिवर्तन और जलवायु संबंधी आपदाओं से विस्थापित हुए लोगों में 80% महिलाएं और लड़कियां हैं, जबकि गरीबी की स्थिति में रहने वाले 1.3 बिलियन लोगों में से 70% महिलाएं हैं।
बेहतर भविष्य के लिए बहुत जरूरी Gender Equality
वहीं, पीढ़ियों से महिलाएं पितृसत्ता, वेतन अंतर, और आकस्मिक कुप्रथा जैसे मुद्दों से जूझ रही हैं। लैंगिक समानता के बिना एक स्थायी और एक-समान भविष्य हमारी पहुंच से बाहर है इसलिए इस बार की थीम यह रखी गई है। ऐसे में यह महत्वपूर्ण है कि विश्व स्तर पर स्थिरता और लैंगिक समानता के प्रयास साथ-साथ चलते हैं।
तो आइए इस अंतर्राष्ट्रीय महिला दिवस पर "एक स्थायी कल के लिए आज लैंगिक समानता" का दावा करें।