आजकल ज्यादातर लोग भूत प्रेत से जुड़ी बातों पर विश्वास नहीं करते और इसे अंधविश्वास का नाम देते हैं। कोई चाहे भूतों में ना मानता हो लेकिन हमारे भारत में कई ऐसी जगहें मौजूद हैं, जिसका संबंध भूत-प्रेतों से बहुत गहरा है। कई जगहें ऐसी हैं जो श्रापित है और वहां इंसानों का जाना खतरे से खाली नहीं है। ऐसी ही एक जगह राजस्थान में भी हैं, जहां कि डरावनी कहानियों की चर्चाएं दूर-दूर तक होती हैं। हम बात कर रहे है राजस्थान के वीराने पड़े गांव कुलधरा की, जहां से रातों-रात हजारों लोग गायब हो गए थे।
200 साल से है वीरान
जैसलमेर से कुछ दूरी पर स्थिति कुलधारा गांव भारत की हॉन्टेड प्लेस में शामिल है। कहा जाता है कि ये गांव करीब 200 साल से वीरान पड़ा हुआ है। लोग कुलधारा गांव से इतना डरते हैं कि शाम क्या वे दिन में भी यहां से निकलना पसंद नहीं करते हैं। बताया जाता है कि इस गांव को पालीवाल ब्राह्मणों ने बसाया था और एक समय पर यहां पर बहुत चहल-पहल होती थी, लेकिन फिर कुछ ऐसा हुआ जिसके बाद लोग ये गांव छोड़ कर चले गए।
श्रापित है गांव
दरअसल इस गांव के अचानक वीराना होने के पीछे एक कहानी है। गांव का मंत्री सलीम सिंह एक क्रूर व्यक्ति था और वह अक्सर अपनी हरकतों से गांव वालों को तंग किया करता था। गांव में कर वसूली का उसका तरीका गरीबों को परेशान करता था। ऐसा माना जाता है कि सलीम ने गांव प्रधान की बेटी को बुरी नजर से देखा और वह उसे अपने साथ रखना चाहता था, लेकिन ऐसा हो नहीं पाया। सलीम की इस हरकत से पालीवाल ब्राह्मणों के आत्मसम्मान को ठेस पहुंची थी।
गांव वालों ने इसे अपनी इज्जत पर वार समझा और वे रातों-रात वहां से चले गए। लेकिन जाते-जाते उन्होंने गांव को श्राप दिया और ऐसा माना जाता है कि उस दौरान वहां मौजूद करीब 5000 लोग गायब हो गए थे।
यहां है भूतों का कब्जा
इतना ही नहीं कहा यहां तक जा रहा है कि इसके बाद से इस गांव पर भूतों का कब्जा है और लोगों को अक्सर काफी अजीबो-गरीब आवाजें सुनाई देती रहती है। यहां पर आने वाले लोग अलग-अलग तरीकों के दावे करते हैं, लेकिन शाम को सूर्य अस्त के बाद यहां कोई रुकने की हिम्मत नहीं करता।