
नारी डेस्क: नए साल के आगमन में बस कुछ ही घंटे बचे हैं। ऐसे में देश भर से श्रद्धालु 2026 का स्वागत प्रार्थनाओं के साथ करने के लिए उत्तर प्रदेश के प्रमुख मंदिर नगरों में उमड़ने लगे हैं, जिसके चलते अधिकारियों को भीड़ प्रबंधन और सुरक्षा के व्यापक इंतजाम करने पड़े हैं। मथुरा ज़िले के वृंदावन में बांके बिहारी मंदिर में भारी भीड़ देखी गई, क्योंकि नए साल के आखिरी दिन भक्त पूजा-अर्चना करने के लिए उमड़ पड़े। वहीं राम नगरी में भी यही हाल है।
बुधवार को अयोध्या में भक्तों का सैलाब उमड़ पड़ा, क्योंकि इस पवित्र शहर में राम जन्मभूमि मंदिर में राम लल्ला की प्राण प्रतिष्ठा की दूसरी वर्षगांठ मनाई गई। इस शुभ अवसर पर, देश भर से हजारों भक्त पूजा-अर्चना करने के लिए मंदिर शहर पहुंचे। मंदिर के प्रवेश द्वार से लेकर अयोध्या की सड़कों तक, "जय श्री राम" के नारों से माहौल गूंज रहा था, क्योंकि भक्त आशीर्वाद लेने के लिए इकट्ठा हुए थे। कई तीर्थयात्रियों ने कहा कि नए साल की शुरुआत भगवान राम के दर्शन से करना विशेष आध्यात्मिक महत्व रखता है, जो उनके जीवन में शांति, सकारात्मकता और दिव्य कृपा लाता है।
बड़ी संख्या में भक्तों की आवाजाही सुनिश्चित करने और कानून-व्यवस्था बनाए रखने के लिए मंदिर परिसर और आसपास के इलाकों में सुरक्षा व्यवस्था कड़ी कर दी गई थी। कई पहली बार आने वाले आगंतुकों ने अयोध्या के बदलाव, स्वच्छता और आध्यात्मिक माहौल की प्रशंसा की। प्राण प्रतिष्ठा की दूसरी वर्षगांठ ने अयोध्या को एक प्रमुख आध्यात्मिक और सांस्कृतिक केंद्र के रूप में और मज़बूत किया है, नए साल की शुरुआत के साथ ही भक्त भगवान राम का आशीर्वाद लेने के लिए इस पवित्र शहर में आते रहते हैं। राम लला की मूर्ति का अनावरण 22 जनवरी, 2024 को 'प्राण प्रतिष्ठा समारोह' में किया गया था, जिसमें प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की उपस्थिति में घंटों तक अनुष्ठान किए गए, जिन्होंने समारोह का नेतृत्व किया था।
वहीं इससे पहले वृन्दावन के श्री बांके बिहारी जी मंदिर प्रबंधन समिति ने भक्तों से अपील की है कि वे पांच जनवरी तक वृंदावन स्थित मंदिर में आने से बचें। मंदिर प्रशासन ने सुरक्षा की दृष्टि से जारी की गई अपील में कहा है कि बहुत आवश्यक न होने पर इस सप्ताह खासकर बच्चे, बुजुर्ग और महिलाएं विशेषकर गर्भवती महिलाएं दर्शन के लिए मंदिर में ना आएं। कुछ समय बाद भीड़ कम हो जाएगी तो मंदिर आने पर उनके लिए बेहतर स्थितियां रहेंगी। गौरतलब है कि प्रतिवर्ष चालू वर्ष की समाप्ति तथा नए साल के आगमन के उपलक्ष्य में बहुत से दंपति परिवार सहित ठाकुरजी का आशीर्वाद लेने की कामना के साथ वृन्दावन, मथुरा व ब्रज के अन्य मठ-मंदिरों व आश्रमों में पहुंचते हैं इसीलिए इन खास दिनों में भीड़ का दबाव बहुत ज्यादा बढ़ जाता है।