कोरोना वायरस से जहां पूरी दुनिया परेशान है वहीं इसके कारण लोगों को बेरोजगारी जैसी समस्याओं से भी जूझना पड़ रहा है। यही नहीं, कोरोना काल की वजह से महिलाओं में भी दवाब काफी बढ़ गया है, खासकर वर्किंग वुमन्स में।
महामारी के कारण महिलाओं में बढ़ा दबाव
हाल ही में हुए सर्वे के मुताबिक, करीब 50% कामकाजी भारतीय महिलाएं कोरोना महामारी के कारण दबाव महसूस कर रही हैं। यही नहीं, महामारी के दौर में महिलाएं भावनात्मक रूप से भी प्रभावित हो रही है। सर्वे में शामिल 47% महिलाओं का कहना है कि महामारी के कारण वह ज्यादा दबाव और बेचैनी महसूस कर रही हैं। वहीं, सर्वे के मुताबिक, 38% कामकाजी पुरुष भी महामारी के चलते दबाव महसूस कर रहे हैं।
कामकाजी मांओं पर भी किया गया सर्वे
यह सर्वे देश की कामकाजी मांओं और कामकाजी महिलाओं के आधार पर किया गया है। इसके अलावा सर्वे का आकलन में स्वतंत्र रूप से काम कर रही महिलाएं, व्यक्तिगत वित्त और करियर को लेकर संभावनाओं को भी शामिल किया गया है।
44% महिलाएं कर रहीं दोगुना काम
सर्वे के मुताबिक, महिलाओं को काम के साथ शिशु की देखभाल में भी दिक्कतें आ रही हैं। इसके अलावा कामकाजी मांओं के लिए वर्क फ्राम होम के कारण भी काफी परेशानियां बढ़ी हैं। इसका कारण कहीं ना कहीं घर का काम और ऑफिस का वर्कलोड भी है। अभी 3 में से 1 महिला यानि देश की 31% महिलाएं पूरे समय बच्चों की देखभाल में लगी हैं। वहीं 5 में से 1 यानी 17% पुरुष बच्चों की देखभाल में बिताते हैं। इसके अलावा 5 में से 2 यानी 44% महिलाओं को बच्चों की देखभाल के कारण ओवरवर्क करना पड़ रहा है जबकि 25% पुरुष ऐसी स्थिति महसूस कर रहे हैं।
42% महिलाएं नहीं दे पा रही काम पर ध्यान
सर्वे में 20% महिलाएं ही बच्चों की देखभाल के लिए परिवार या दोस्तों की मदद ले रही है जबकि पुरूषों के लिए यह आंकड़ा 32% है। 46% महिलाओं का कहना है कि महामारी के दौर में उन्हें दोगुना काम करना पड़ रहा है। वहीं 42% महिलाओं बच्चों के कारण काम पर ध्यान नहीं दे पा रही है। फ्रीलांसर के रूप में काम करने वाले 25% लोगों को सैलरी बढ़ने की उम्मीद है। जबकि 27% को उनकी पर्सनल बचत बढ़ने की उम्मीद है। इसके अलावा 31% लोगों को अगले 6 महीने तक अपने निवेश की राशि बढ़ने की उम्मीद है।