इन दिनों कान्स फिल्म फेस्टिवल में भारत का ही जादू चल रहा है। पिछले दिनों अनसूया सेनगुप्ता ने अन सटर्न रिगाडर् कैटेगरी में बेस्ट एक्ट्रेस का अवॉर्ड जीतकर इतिहास रच दिया है। वहीं अब भारत की डायरेक्टर पायल कपाड़िया ने फेस्टिवल के आखिरी दिन सारी महफिल लूट ली। उनकी फीचर फिल्म 'ऑल वी इमैजिन ऐज लाइट' का प्रीमियर हुआ। इस दौरान लोगों को लोगों अपने आर्ट से इतना ज्यादा इंप्रेस कर दिया कि मूवी देखने के बाद 8 मिनट तक उन्हें स्टैंडिंग ओवेशन दिया गया। पूरा हॉल तालियों से गूंज उठा और ये हर भारतीय के लिए गर्व का पल था।
पायल को मिला बड़ा सम्मान
पायल भारत की पहली महिला डायरेक्टर बन गईं है जिनकी फीचर फिल्म को Palme d'Or कैटगरी के लिए नॉमिनेट किया गया था। हालांकि इस कॉम्पटीशन में इस फिल्म को पहला तो नहीं, लेकिन दूसरा सबसे बड़ा सम्मान ग्रैंड प्रिक्स अवॉर्ड जीतकर इतिहास रच दिया। आइए आपको बताते हैं पायल के बारे में...
कौन हैं पायल कपाड़िया
पायल का जन्म मुंबई में हुआ है और उन्होंने आंध्र प्रादेश के Rishi Valley school से अपनी पढ़ाई की है। डायरेक्टर ने अर्थशास्त्र में ग्रेजुएशन किया है। उन्होंने सोफिया कॉलेज से अपनी मास्टर की पढ़ाई की है। पढ़ाई पूरी होने के बाद पायल ने फिल्म एंड टेलीविजन इंस्टीट्यूट से डायरेक्शन की बारीकियां सीखीं। पिछले 10 सालों में उन्होंने कई सारी शॉर्ट फिल्में भी बनाई हैं।
पहले भी पायल को मिल चुका है कान्स में सम्मान
बता दें, पायल को इससे पहले भी बेहतरीन काम के लिए सम्मान मिल चुका है। उन्होंने नाइट ऑफ नोइंग नथिंग नाम की एक शॉर्ट फिल्म बनाई थी, जिसके लिए कान्स फिल्म फेस्टिवल में ही साल 2021 में उन्हें गोल्डन आई अवॉर्ड मिला था।
पायल ने किया था गजेंद्र चौहान के खिलाफ प्रदर्शन
आपको जानकर हैरानी होगी कि साल 2015 में पायल FTII की स्टूडेंट थीं, तब उन पर कक्षाओं का बहिष्कार करने और टेलीविजन- एक्टर से राजनेता बनें गजेंद्र चौहान की संस्थान के अध्यक्ष के रूप में नियुक्ति के खिलाफ 4 महीने तक विरोध प्रदर्शन करने के बाद अनुशासनात्मक कार्रवाई का आरोप लगाया गया था।