नारी डेस्क: आज कल फेमस होने के लिए लोग क्या कुछ नहीं कर रहे हैं, वह रील्स बनाने के चक्कर भगवान को भी नहीं छोड़ रहे हैं । हाल ही में काल भैरव मंदिर में भी कुछ ऐसा ही देखने को मिला। यहां एक महिला भगवान की मूर्ति के आगे केक काटती नजर आई। वीडियो वायरल होने के बाद खूब हंगामा हो गया। इसे लेकर सख्त से सख्त कार्रवाई की मांग की जा रही है।
वायरल हो रहे वीडियो में एक सोशल मीडिया इनफ्लुएंसर काशी के कोतवाल बाबा कालभैरव के मंदिर पहुंचती है। भगवान का आर्शीवाद लेने के बाद वह गर्भगृह में ही केक काटती है और उसे बाबा कालभैरव को अर्पित करती है। इस दौरान वहां मौजूद पुराजी ने भी कोई आपत्ति नहीं जताई।
गर्भगृह में केक काटने की वीडियो के सामने आने के बाद लोगों ने इसपर अपनी आपत्ति दर्ज कराई है। उनका कहना है कि काशी के कोतवाल के सामने ऐसी हरकत करना बेहद दुख की बात है। वहीं विवाद होने के बाद मंदिर के महंत मोहित योगेश्वर ने सफाई देते हुए कहा कि गर्भगृह में केक काटना उचित नहीं है। उन लोगों को वीडियो और फोटो खींचने से मना किया गया था, लेकिन वह नहीं माने।
काशी विद्वत परिषद के महामंत्री डॉ. रामनारायण द्विवेदी का कहना है कि केक काटना शास्त्रीय विधान नहीं है। गर्भगृह में पूजन-अर्चन करना चाहिए। देवस्थान पर देव निमित्त कार्य होने चाहिए। मंदिर प्रबंधन को मंदिरों की मर्यादा का ख्याल रखना होगा। काशी विद्वत परिषद अब उस महंत के खिलाफ कार्रवाई करने जा रहा हैं जो उस समय मौजूद थे।
काशी के कोतवाल बाबा कालभैरव मंदिर वाराणसी का एक प्रसिद्ध धार्मिक स्थल है, जिसे भगवान शिव के भैरव स्वरूप को समर्पित किया गया है। बाबा कालभैरव को "काशी के कोतवाल" यानी वाराणसी के रक्षक देवता माना जाता है। यह मंदिर धार्मिक आस्था और पौराणिक महत्व से भरा हुआ है, जो वाराणसी आने वाले भक्तों और पर्यटकों के लिए आकर्षण का केंद्र है।