जहां कोरोना का आंकड़ा दिन ब दिन बढ़ता जा रहा है वहीं दुनियाभर में कोरोना की नई-नई दवा लॉन्च की जा रही है, ताकि इस बीमारी से लड़ा जा सके। हालांकि वैज्ञानिक वैक्सीन बनाने के लिए दिन रात मेहनत कर रहे हैं लेकिन तब दवाओं के जरिए ही मरीजों को आराम दिलाया जा रहा है। अब तक मार्केट में एविगन, फेविपिराविर जैसी कई दवाएं आ चुकी हैं। वहीं अब भारत में एक ओर नई दवा लॉन्च हुई है।
भारत में लॉन्च हुई कोरोना की नई दवा
दरअसल, अब भारत की फेमस दवा कंपनी डॉ. रेड्डी लेबोरेट्रीज ने रेमडेसिविर दवा लॉन्च करने की घोषणा की है, जो कोरोना के इलाज में मददगार साबित होगी। गिलीड साइंसेज इंक (गिलीड) के साथ लाइसेंस की व्यवस्था के तहत रेमडेसिविर का पंजीकरण, विनिर्माण और बिक्री का अधिकार दिया गया है।
गंभीर लक्षणों वाले कोरोना मरीजों पर होगी इस्तेमाल
रेमडेसिविर दवा देश में कोरोना के गंभीर लक्षण मरीजों को दी जाएगी जो लक्षणों को कम करने के साथ इम्यूनिटी बढ़ाने में भी मदद करेगी। यह दवा 100 मिलीग्राम की छोटी शीशी में मिलेगी, जिसे बिना डॉक्टरी पर्ची के भी खरीदा जा सकता है। बता दें कि पिछले महीने इसी कंपनी की तरफ से 'एविगन' (Avigan) दवा भी लॉन्च की गई थी, जो कोरोना के हल्के और मध्यम लक्षणों पर इस्तेमाल हो रही है।
5 दिन में मिलेगा आराम
ट्रायल के मुताबिक, रेमडेसिवियर दवा से कोरोना मरीजों को 5 दिन में ही आराम पड़ रहा है। जिन मरीजों को रिमेडिसवायर दी गई थी, उनकी रिकवरी 31% जल्दी हुई। बता दें कि एंटी वायरल दवा रेमडेसिवियर दवा इबोला, सार्स, मर्स, हेपेटाइटिस-सी जैसे वायरस के खिलाफ भी इस्तेमाल हो चुकी है।
50% मरीजों की हालत में सुधार
कैलीफोर्निया की गिलीड साइंसेज दवा कंपनी गिलीड के मुताबिक, लगातार 5 दिन कोरोना मरीजों को यह दवा देने से हालत में 50% फर्क देखने को मिल रहा है। वहीं, कोरोना मरीजों को अन्य दवाएं 10 दिन तक दी जाती है, जिसके मुकाबले इसके रिजल्ट बेहतर साबित हो रहा हैं। हालांकि बाकी दवाओं के मुकाबले यह दवा थोड़ी ज्यादा महंगी है।
अक्तूबर अंत तक आ सकता है टीका
इसी बीच अमेरिका से खुशखबरी आ रही है कि अक्तूबर महीने के अंत तक कोरोना की वैक्सीन आ सकती है। हालांकि अमेरिकी फार्मा कंपनी 'फाइजर' एक इंयरव्यू में बताया कि वैक्सीन का आखिरी ट्रायल चल रहा है जो जल्दी ही पूरा हो सकता है। फाइजर और जर्मन कंपनी बायोएनटेक द्वारा तैयार की गई इस वैक्सीन पर वैज्ञानिकों की उम्मीदें टिकी हैं। ट्रायल के दौरान वैक्सीन से मरीजों में सिरदर्द और थकान जैसे लक्षण कम देखने को मिले।
गौरतलब है कि दुनियाभर में कोरोना के मामले 2 करोड़ से भी ऊपर पहुंच चुके है करीब 9 लाख लोग अपनी जान गवां चुके हैं। जब तक वैक्सीन नहीं आती तब तक सावधानी में ही आपकी सुरक्षा है।