कोरोना के मामलों ने लगातार रफतार पकड़ ली है। भारत में इसके मामले 1 करोड़ के पार हो चुके हैं। जो कि एक चिंता का विषय है लेकिन वहीं दूसरी ओर कोरोना से रिकवरी रेट भी बढ़ रहा है। यानि कि कोरोना से ठीक होने की गिनती भी बढ़ी है लेकिन वहीं इसी बीच दूसरे देशों में कोरोना के नए स्ट्रेन पाए जा रहे हैं जिससे डॉक्टर्स और विशेषज्ञों की चिंता बढ़ गई है। बहुत से देशों ने कोरोना वायरस के खिलाफ वैक्सीनेशन भी शुरू कर दी है लेकिन नए स्ट्रेन ने एक बार फिर चिंता बढ़ा दी है। भारत में कोरोना के मामले करोड़ तक पहुंच जाने के बाद लोगों के मन में बहुत सारे सवाल आ रहे हैं कि क्या भारत दूसरी लहर की ओर बढ़ रहा या फिर क्या भारत में भी कोरोना का नया स्ट्रेन आएगा। इस पर विशेषज्ञ का क्या कहना है आइए आपको बताते हैं।
फरवरी तक हालात हो जाएंगे स्थिर
लगातार बढ़ते मामलों में विशेषज्ञों ने एक बहुत बड़ी खुशखबरी दे दी है। विशेषज्ञ की मानें तो अगले साल फरवरी तक कोरोना काफी हद तक स्थिर हो जाएगा और इसके महज 20 हजार ही सक्रिय मरीज बचेंगे। लेकिन वहीं वर्तमान में इसके एक्टिव केस देखे जाएं तो उनकी संख्या लाखों के पास है।
क्या भारत में आएगी दूसरी लहर?
बीते दिनों डॉक्टर्स और विशेषज्ञों ने इस बात की चिंता जताई थी कि कोरोना की दूसरी लहर देखने को मिल सकती है लेकिन इस पर विशेषज्ञ की मानें तो भारत में दूसरी लहर देखना मुश्किल है। जी हां...इसी पर बात करते हुए आईसीएमआर के पूर्व महामारी विशेषज्ञ डॉ. रमन गंगाखेड़कर की मानें तो देश में काफी हद तक वैक्सीन की तैयारी हो चुकी है जिसके कारण दूसरी लहर के आने से पहले ही देश में एक चौथाई आबादी में एंटीबॉडी विकसित हो जाएगी।
कोरोना के नए स्ट्रेन पर निर्भर दूसरी लहर
वहीं इस पर विशेषज्ञ यह भी कहते हैं कि अगर भारत में कोरोना का कोई नया स्ट्रेन नहीं आता है तो इसकी दूसरी लहर भी नहीं आएगी। वहीं भारत में बात वैक्सीनेशन की हो तो ऐसा कहा जा रहा है कि इस साल के अंत तक वैक्सीन को इमरजेंसी के लिए अप्रूवल मिल सकता है और अगले साल जनवरी तक लोगों को इसकी वैक्सीन मिल सकती है। इतना ही नहीं इस पर माहिर यह भी कहते हैं कि अगले साल मार्च के अंत तक इस बीमारी को नियंत्रित किया जा सकता है।
अगर भारत में दूसरी लहर आई तो क्या होगा ?
इस पर भारतीय वैज्ञानिक डॉ. गगनदीप कांग की मानें तो अगर भारत में दूसरी लहर आती भी है तो यह पहले जितनी ताकतवर नहीं होगी। ऐसी भी संभावना लगाई जा रही है कि इसका संक्रमण पहली बार जितना तेज नहीं होगा और न ही इससे मामलों में उतनी वृद्धि आएगी। इतना ही नहीं इस पर जानेमाने वायरोलॉजिस्ट डॉ. शाहिद जमील भी कहते हैं कि उन्हें नहीं लगता कि कोरोना की कोई दूसरी लहर आएगी।
संक्रमण के मामले देखने को मिल सकते हैं
वहीं मामलों पर विशेषज्ञ कहते हैं कि अगले साल भी इससे लोग संक्रमित होते रहेंगे और इसके मामले देखने को मिलते रहेंगे। ऐसे में आप मास्क पहनें और जितनी हो सके एहतियात बरतें।