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40 के बाद महिलाओं को रहता है इन बीमारियों का खतरा, ऐसे कम करें जोखिम

  • Edited By Charanjeet Kaur,
  • Updated: 06 Apr, 2024 02:42 PM
40 के बाद महिलाओं को रहता है इन बीमारियों का खतरा, ऐसे कम करें जोखिम

महिलाओं का शरीर पुरुषों के मुकाबले कहीं ज्यादा नाजुक होता है। उनके शरीर की बनावट भी कुछ ऐसी होती है कि बैक्टीरिया और इंफेक्शन का खतरा बहुत ज्यादा होता है। इसके साथ ही पीरियड्स और बच्चे पैदा करना भी शरीर को झकझोर के रख देता है। वहीं आजकल के वर्किंग वूमेन की बिजी लाइफस्टाइल भी महिलाओं को खुद की देखभाल करने का समय नहीं छोड़ती है। ये ही कारण है कि धीरे- धीरे बढ़ती उम्र के साथ महिलाओं के शरीर में कई सारी समस्याएं पैदा होती है। 40 के बाद तो हर महिला को समय-समय पर टेस्ट करवाते रहना चाहिए। आइए 7 अप्रैल के होने वाले World Health Day के मौके पर आपको बताते हैं कि महिलाओं को कौन सी बीमारी का सबसे ज्यादा खतरा रहता है...

सर्वाइकल कैंसर

महिलाओं का reproductive System सर्विक्स काफी छोटा होता है। इसके साथ ही योनि और सर्विक्स में बर्थ कैनाल भी होती है। जब सरवाइकल यानी गर्भाशय की कोशिकाएं तेजी से बढ़ने लगती है और कंट्रोल के बाहर हो जाती है, तो इसे सर्वाइकल कैंसर कहते हैं। एक्सपर्ट्स की मानें तो इस बीमारी का हर 5  में से 1 केस भारत का होता है। इससे सुरक्षित रहने के लिए समय- समय पर  पेल्विक एग्जाम, पेप स्मीयर व अन्य टेस्ट करवाते रहें।

ब्रेस्ट कैंसर

सर्वाइकल के बाद महिलाओं में बेस्ट कैंसर का सबसे ज्यादा खतरा रहता है। एक स्टडी की मानें तो भारत की महिलाओं में होने वाले कैंसरों में लगभग 25 से 32 फीसद मामले ब्रेस्ट कैंसर के होते हैं। एक एडल्ड महिला को हर 2-3 साल में 1 बार तो मैमोग्राफी टेस्ट जरूर करवाना चाहिए। अगर आपको ब्रेस्ट में किसी तरह की गांठ, सूजन या रिसाव जैसे लक्षण महसूस हो रहा है, तो डॉक्टर से जांच करवाएं।

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एनीमिया 

एनीमिया यानी की खून की कमी। ये इसलिए भी होता है क्योंकि महिलाएं पीरियड्स के दौरान काफी खून खो देती है। इसलिए उन्हें जरूरी है हेल्दी डाइट लेनी की। अगर आपको एनीमिया हो गया है और समय पर इलाज न किया जाए तो यह गंभीर बीमारियां पैदा कर सकता है। कुछ स्टडजी में पाया गया है कि एनीमिया पुरुषों से ज्यादा महिलाओं में पाया जाता है । एनीमिया का पता लगाने के लिए किसी बड़े टेस्ट की जरूरत नहीं है, सामान्य कम्पलीट ब्लड काउंट टेस्ट (CBC) की मदद से इसका टेस्ट किया जा सकता है।

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वैजिनाइटिस 

योनि में होने वाली सूजन व लालिमा की स्थिति को वैजिनाइटिस कहा जाता है। इसके कारण असामान्य रिसाव, दर्द, खुजली और जलन जैसे लक्षण भी देखे जा सकते हैं। वैजिनाइटिस आमतौर पर वायरल, बैक्टीरियल या यीस्ट इन्फेक्शन के कारण होता है, अगर योनि की अच्छे से सफाई न की जाए तो। इससे यौन संचारित रोग (STI) होने के खतरा भी रहता है। इससे बचाव के लिए समय-समय पर पेल्विक एग्जाम टेस्ट कराते रहें।

मोटापा

खराब लाइफस्टाइल और जंक फूड के सेवन के चलते मोटापे की समस्या भी बढ़ती जा रहा है। स्टडीज में ये पाया गया है कि मोटापे के मामले पुरुषों से ज्यादा महिलाओं में पाए जाते हैं। इससे कोलेस्ट्रोल, हाई बीपी, डायबिटीज और दिल से जुड़ी बीमारियों का खतरा रहता है। इसे बचने के लिए हेल्दी खाएं और एक्सरसाइज करें। 

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