नारी डेस्क: हिंदू धर्म में भगवान श्रीकृष्ण का स्थान अत्यंत महत्वपूर्ण माना गया है। भगवान के बाल स्वरूप को लड्डू गोपाल कहते हैं, माना जाता है कि घर में उनकी स्थापना करने से सुख-समृद्धि, शांति और ऐश्वर्य बना रहता है। हालांकि शास्त्रों में उनकी सेवा के कुछ नियम बताए गए हैं, जिसका पालन करना आवश्यक है। इन्हीं नियमों में से एक नियम है लड्डू गोपाल को नियमित स्नान कराना। ऐसे में ठंड के इस मौसम में लड्डू गोपाल को स्नान कराने के दौरान विशेष सावधानी बरतनी चाहिए। सर्दियों में स्नान कराने के नियम इस प्रकार हैं।
गुनगुने पानी का उपयोग करें
सर्दियों में लड्डू गोपाल को ठंडे पानी की बजाय हल्के गुनगुने पानी से स्नान कराना चाहिए। पानी का तापमान इतना होना चाहिए कि वह ठंड से बचाए लेकिन बहुत गर्म भी न हो। स्नान के लिए दूध, दही, घी, शहद और गंगाजल का उपयोग करें। पानी में थोड़ा गुलाब जल या हल्दी मिलाएं। यह शुभ माना जाता है।
जल्दी स्नान कराएं
सर्दियों में लड्डू गोपाल को स्नान की प्रक्रिया को लंबा नहीं खींचना चाहिए। स्नान प्रक्रिया पूरी करने के बाद तुरंत उन्हें मुलायम तौलिये से पोंछकर सुखाएं। इसके तुरंत बाद लड्डू गोपाल को ऊनी वस्त्र पहनाएं। उनके आस-पास रजाई या ऊनी कंबल रखें ताकि उन्हें ठंड न लगे।
गंगाजल का छिड़काव करें
यदि सर्दी बहुत ज्यादा हो, तो पानी की बजाय केवल गंगाजल से अभिषेक करें और उन्हें सूती कपड़े से साफ कर लें। सर्दियों में लड्डू गोपाल की सेवा करते समय यह सुनिश्चित करें कि वे हमेशा गर्म वातावरण में रहें। उनके कपड़े और बिस्तर बदलते समय ठंड से बचाव का पूरा ध्यान रखें।
क्या नियमित स्नान कराना जरूरी है?
ज्योतिष शास्त्र की मानें तो लड्डू गोपाल की सेवा के नियमों में से उन्हें नियमित स्नान कराना सबसे प्रमुख माना जाता है। हालांकि कुछ विशेष परिस्थितियों में सप्ताह में कम से कम एक बार आपको लड्डू गोपाल को स्नान अवश्य कराएं। ध्यान रखें कि लड्डू गोपाल को नियमित साफ़ वस्त्रों से सुसज्जित करना जरूरी है और उन्हें नियमित रूप से चंदन का तिलक लगाएं।