किस्मत का सिक्का जब चलता है तो नसीब पलटने में ज्यादा देर नहीं लगती। यह किस्मत का ही खेल होता है कि कई बार लोग रातों रात फर्श से अर्श तक का सफर तय कर लेते हैं। ऐसा ही कुछ हुआ सड़कों पर झाड़ू लगाने वालीं एक महिला के साथ। स्वीपर के तौर पर काम कर रही इस महिला को क्या पता था कि एक दिन किस्मत उस पर इस कदर मेहरबान हो जाएगी।
हैदराबाद ही रहने वाली है रजनी
हम जिस महिला की बात कर रहे हैं उनका नाम है ए रजनी। हैदराबाद ही रहने वाली रजनी साइंस में पोस्ट-ग्रेजुएट डिग्री होल्डर होने के बाद भी सडकों पर झाड़ू लगाती थी।लेकिन उसकी मेहनत रंग लाई और उन्हें अब ग्रेटर हैदराबाद नगर निगम (GHMC) में आउटसोर्सिंग के आधार पर सहायक कीटविज्ञानी की नौकरी ऑफर की गई।
वकील से हुई थी शादी
ऑर्गेनिक केमिस्ट्री में पोस्ट ग्रेजुएट और पीएचडी की उम्मीदवार रजनी ने अपने माता-पिता के सपोर्ट से पढ़ाई जारी रखी और 2013 में जैविक रसायन विज्ञान में एमएससी पास की। उन्होंने हैदराबाद सेंट्रल यूनिवर्सिटी से पीएचडी के लिए भी क्वालिफाई किया था, लेकिन इस बीच उनकी शादी एक वकील से हो गई और वह हैदराबाद शिफ्ट हो गईं।
परिवार चलाने के लिए बेची सब्जी
शादी के कुछ साल बाद रजनी के पति की तबीयत खराब होने के कारण परिवार संकट में आ गया। परिवार को चलाने के लिए उन्होंने सब्जियां बेचना शुरू किया। इसके बाद उन्होंने 10 हजार रुपए की सैलरी पर जीएचएमसी के साथ कॉन्ट्रैक्ट के आधार पर स्वीपर की नौकरी की। एक प्रमुख तेलुगु दैनिक में प्रकाशित उसकी कहानी को तेलंगाना के नगर प्रशासन मंत्री के.टी. रामा राव ने पढ़ा और उसके लिए कुछ करने का सोचा।
दो बेटियों की मां है रजनी
20 सितंबर को उन्हें आउटसोर्सिंग के आधार पर नौकरी की ऑफर मिल गया। दो बेटियों की मां रजनी उस समय भावुक हो गईं जब मंत्री ने उन्हें हर संभव सहायता का आश्वासन दिया और उन्हें कीटविज्ञान विभाग में सहायक कीटविज्ञानी के रूप में नौकरी दी। डेवलपमेंट स्पेशल चीफ सेक्रेटरी अरविंद कुमार के मुताबिक, रजनी के डॉक्युमेंट्स को वैरिफाई करने के बाद आदेश जारी हो चुके हैं।