नारी डेस्क: ब्रेस्ट कैंसर एक गंभीर प्रकार का कैंसर है, जो विशेष रूप से महिलाओं को प्रभावित करता है। इस बीमारी के मामले लगातार बढ़ते जा रहे हैं, और इसके पीछे कई संभावित कारण हैं। हाल की एक रिसर्च ने इस बीमारी के कारणों में एक नया और चिंताजनक पहलू जोड़ा है। पैकेज्ड फूड्स में मौजूद खतरनाक केमिकल्स।
नई रिसर्च में चौंकाने वाला खुलासा
हाल ही में फ्रंटियर्स इन टॉक्सिकोलॉजी में प्रकाशित एक अध्ययन में पाया गया कि खाने-पीने के पैकेटों में लगभग 200 केमिकल्स पाए गए हैं, जिनमें से 76 केमिकल्स को कैंसरकारक के रूप में पहचाना गया है। अध्ययन के अनुसार, ये केमिकल्स कागज और पॉलीथिन पैकेजिंग में मौजूद हैं और जब गर्म भोजन को इनमें पैक किया जाता है, तो ये खतरनाक केमिकल्स भोजन में मिल जाते हैं। इससे स्पष्ट होता है कि पैकेज्ड फूड्स का सेवन ब्रेस्ट कैंसर के खतरे को बढ़ा सकता है।
प्लास्टिक पैकेजिंग का खतरा
प्लास्टिक पैकेजिंग न केवल होटलों या स्ट्रीट फूड्स में, बल्कि हमारे रोजमर्रा के जीवन में भी आम है। जब लोग गर्म भोजन को प्लास्टिक के टिफिन बॉक्स में रखते हैं, तो यह धीरे-धीरे खतरनाक केमिकल्स को भोजन में छोड़ सकता है। रिसर्च में यह भी पाया गया है कि इन केमिकल्स का सेवन कैंसर के जोखिम को बढ़ा सकता है।
FCM क्या है?
FCM का अर्थ है "फूड कॉन्टेक्ट मैटीरियल," जो वो हानिकारक सामग्रियां हैं जो भोजन में सीधे या किसी अन्य तरीके से प्रवेश करती हैं और उसे दूषित करती हैं। इनमें प्लास्टिक के बर्तन, कागज के पैकेजिंग आइटम्स और खाना बनाने वाले चीजे शामिल हैं। ये हानिकारक पदार्थ भोजन के साथ मिलकर स्वास्थ्य पर गंभीर असर डाल सकते हैं।
कैसे सुरक्षित रखें अपना खाना?
अपने भोजन को सुरक्षित रखने के लिए कुछ सावधानियां बरतें बाहर से खाना लाते समय अपने घर के डिब्बे का इस्तेमाल करें। मेटल के टिफिन को इस्तेमाल करे। गरम खाने को तुरंत पैक न करें। इससे केमिकल्स का रिसाव कम होगा।
ब्रेस्ट कैंसर जैसे गंभीर स्वास्थ्य मुद्दे के बढ़ते मामलों को देखते हुए, पैकेज्ड फूड्स के खतरनाक केमिकल्स पर ध्यान देना आवश्यक है। सुरक्षित खाने की आदतें अपनाकर हम अपने स्वास्थ्य को बेहतर बना सकते हैं और कैंसर के खतरे को कम कर सकते हैं। अपनी और अपने परिवार की सेहत के लिए सचेत रहना महत्वपूर्ण है।