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क्या पपीता सच में गर्भपात का कारण बनता है? जानें सही जानकारी

  • Edited By Priya Yadav,
  • Updated: 01 Dec, 2024 02:40 PM
क्या पपीता सच में गर्भपात का कारण बनता है? जानें सही जानकारी

नाराी डेस्क: गर्भावस्था के दौरान महिलाओं को क्या खाना चाहिए और क्या नहीं, इस विषय पर कई मिथक और भ्रम फैले हुए हैं। इन्हीं में से एक प्रमुख दावा यह है कि पपीता खाने से गर्भपात हो सकता है। हालांकि, यह दावा पूरी तरह से भ्रामक और बिना किसी वैज्ञानिक आधार के है। आइए जानते हैं कि सच क्या है और इस मिथक को क्यों दूर करना जरूरी है।

पपीता और गर्भावस्था

पपीता एक पोषक तत्वों से भरपूर फल है, जो विटामिन C, विटामिन A, फोलेट, पोटैशियम, और फाइबर का अच्छा स्रोत होता है। यह फल त्वचा की सेहत, पाचन तंत्र को स्वस्थ रखने, और इम्यून सिस्टम को मजबूत बनाने में मदद करता है। प्रेग्नेंसी के दौरान पपीते के सेवन से काफी लाभ हो सकते हैं, लेकिन इसके बारे में एक महत्वपूर्ण जानकारी जानना जरूरी है।

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कच्चे पपीते का सेवन क्यों खतरनाक हो सकता है?

कच्चे पपीते में एक एंजाइम होता है, जिसे पैपाइन कहते हैं। यह एंजाइम गर्भाशय के संकुचन को बढ़ा सकता है, जिससे गर्भपात का खतरा हो सकता है। हालांकि, यह केवल कच्चे पपीते पर लागू होता है, न कि पके हुए पपीते पर। पके हुए पपीते में पैपाइन का स्तर कम हो जाता है, जिससे यह सुरक्षित होता है और गर्भवती महिला के लिए कोई खतरा नहीं होता।

क्या पके हुए पपीते का सेवन सुरक्षित है?

गर्भावस्था में पके हुए पपीते का सेवन बिल्कुल सुरक्षित होता है, क्योंकि इसमें पैपाइन का प्रभाव नहीं रहता। पका हुआ पपीता महिलाओं को फाइबर, विटामिन C, और फोलेट देने का अच्छा स्रोत है, जो गर्भस्थ शिशु की वृद्धि और विकास में मदद करता है। इसके अलावा, यह कब्ज़ की समस्या को भी दूर करने में मदद करता है, जो गर्भावस्था में आम होती है।

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मिथक क्यों फैलते हैं?

प्रेग्नेंसी के दौरान महिलाओं को खाने-पीने के बारे में अक्सर गलत जानकारी दी जाती है। पपीता और अन्य खाद्य पदार्थों को लेकर कई तरह के मिथक फैले हुए हैं, जो बिना किसी वैज्ञानिक प्रमाण के होते हैं। यह मिथक अक्सर पुराने समय के अनुभवों या बिना आधार के दावों पर आधारित होते हैं। इसलिए जरूरी है कि महिलाएं गर्भावस्था के दौरान किसी भी खाद्य पदार्थ का सेवन करने से पहले डॉक्टर से परामर्श लें।

डॉक्टर का सुझाव

गर्भावस्था के दौरान खानपान पर ध्यान रखना बहुत जरूरी होता है। यदि महिला को पपीता खाने के बारे में संकोच है, तो बेहतर होगा कि वह डॉक्टर से सलाह ले। डॉक्टर गर्भवती महिला के स्वास्थ्य और शिशु की स्थिति को ध्यान में रखते हुए उसे सही आहार की सलाह देंगे।

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कच्चे पपीते के बारे में यह कहना कि यह गर्भपात का कारण बन सकता है, एक भ्रामक और अव्यावसायिक दावा है। हालांकि, कच्चे पपीते से दूर रहना सही होगा, लेकिन पका हुआ पपीता गर्भवती महिलाओं के लिए एक सुरक्षित और पौष्टिक विकल्प हो सकता है। महिलाओं को गर्भावस्था के दौरान सही आहार लेने की सलाह दी जाती है, ताकि वह और उनके शिशु दोनों स्वस्थ रहें। किसी भी खाद्य पदार्थ के सेवन से पहले डॉक्टर से परामर्श करना हमेशा बेहतर होता है।
 

 

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