22 NOVFRIDAY2024 4:07:24 PM
Nari

परंपरा के नाम पर महिला की पिटाई, कंधे पर पुरुष को बैठाकर 3kg चलवाया पैदल

  • Edited By Anjali Rajput,
  • Updated: 17 Feb, 2021 03:11 PM
परंपरा के नाम पर महिला की पिटाई, कंधे पर पुरुष को बैठाकर 3kg चलवाया पैदल

संस्कृति, मान्यताएं और परंपराओं के नाम पर महिलाएं सदियों से ही अत्याचार सहती आ रही हैं। भारत में आज भी बहुत-सी ऐसी जगहें है जहां धकियानूसी  परंपराओं के नाम पर महिलाओं को प्रताड़ित और जलील किया जाता है। हाल ही में इंसानियत को शर्मसार करती एक ऐसी ही घटना सामने आई है। मध्य प्रदेश, गुना जिले में रहने वाली एक आदिवासी महिला के साथ परंपरा ने नाम पर ऐसा दुर्व्यवहार किया गया जिसे सुनकर इंसानियत भी शर्मसार हो जाए।

परंपरा के नाम पर की आदिवासी महिला की पिटाई

मध्य प्रदेश, गुना जिले में रहने वाली एक आदिवासी महिला की पहले तो बुरी तरह पिटाई गई और फिर उसे मीलों तक पैदल दौड़ाया। सोशल मीडिया पर एक वीडियो काफी वायरल हो रहा है, जो आज के समाज का काली सच्चाई को दिखा रहा है। इस वीडियो में एक महिला को मजबूर तीन कि.मी. तक पैदल चलाया जा रहा है। यही नहीं, महिला ने अपने कंधे पर परिवार के एक सदस्य को भी उठाया हुआ है।

मीलों तक दौड़ाया और हंसते रहे गांव के लोग

खबरों के मुताबित, यह घटना गुना सगई और बनस खेड़ी गांव के बीच की है। यहां एक आदिवासी महिला के साथ कुछ ग्रामीण लाठी और क्रिकेट बैट लेकर चल रहे हैं। वीडियो में कुछ कुछ स्थानीय लोग महिला पर हंस रहे हैं तो वहीं कुछ उसे अपमानित कर रहे हैं।

PunjabKesari

दूसरे पुरुष के साथ रहने पर दी सजा

जैसे ही महिला की स्पीड धीमी पड़ती है तो कुछ लोग उसे लाठी मारने लगते हैं। इसी बीच महिला लड़खड़ाते हुए आगे बढ़ जाती है। महिला की शिकायत के अनुसार, वो अपने परिवार और पति की आपसी सहमति से किसी दूसरे पुरुष के साथ रह रही थी। मगर, पिछले हफ्ते उनके पूर्व पति कुछ लोगों के साथ उनके घर पहुंच गए। इसके बाद महिला का अपहरण करके उसे सजा दी गई।

पुलिस की गिरफ्त में 4 आरोपी और 3 फरार

जिले के SP राजीव कुमार मिश्र ने कहा कि परंपरा के नाम पर आदिवासी समाज ने ऐसा व्यवहार किया। फिलहाल पुलिस मामले की जांच में जुटी हुई है। हालांकि इस मामले में 4 आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया गया है लेकिन बाकी 3 फरार आरोपियों की खोजबीन जारी है।

PunjabKesari

देश में महिलाओं, बच्चियों के साथ आए दिन होने वाली घटनाएं इंसानियत का असली चेहरा बयां करती हैं। ऐसे मामलों को देखकर तो यही लगता है कि अब महिलाएं इस देश में किसी भी तरह सुरक्षित नहीं है।

Related News