दिवाली का त्योहार पूरी दुनिया में बड़ी धूमधाम से मनाया जाता है। यह बेस्ट टूरिस्ट्स स्पोर्ट्स की लिस्ट में आता है। जहां पर लोग देश-विदेश से घूमने आना पसंद करते हैं। बात भारत की करें तो गुजरात में बसे कच्छ में कुछ दिनों पहले से ही इस त्योहार में मनाने की तैयारियां शुरू हो जाती है। इस बार कोरोना के कारण बंद पड़ा 12 नवंबर से टूरिस्ट्स के लिए खुल गया है। रिपोर्ट्स के मुताबिक यह 12 नवंबर से लेकर 28 फरवरी 2021 तक खुला रहेगा। ऐसे में यहां पर घूमने का मजा कोई भी ले सकता है।
कहा जा रहा है कि कच्छ की सीमा पर बसा ढोर्डो गांव में लगभग 350 टेंट्स लगाए जाएंगे। साथ ही वहां की साफ-सफाई का ध्यान
कोविड-19 की गाइडलाइन्स के मुताबिक ही हो रहा है। जैसे कि कहा ही जाता है कि आदमी की सुरक्षा उसके खुद के हाथ में होती है। ऐसे में हर किसी को सभी यात्रियों को कोविड-19 प्रोटोकॉल का भी पालन करना पडे़गा। मास्क पहनना और जरूरत पड़ने पर सैनिटाइजर का इस्तेमाल करना होगा। ताकि किसी भी यात्री को कोई परेशानी ना हो। साथ ही कोरोना की चपेट में आने का खतरा कम हो।
तो चलिए अब जानते हैं कि कच्छ में किन जगहों पर घूमने का मजा लिया जा सकता है...
- कच्छ की राजधानी भुज में यहां के महाराजा का आइना महल, प्राग महल, शरद बाग पैलेस आदि ऐतिहासिक जगहों को देखने का मजा ले सकते हैं।
- भुज से लगभग 60 किलीमीटर की दूरी पर स्थित कच्छ मांडवी बीच बेहद ही खूबसूरत बना हुआ है। यहां पर नीले रंग का पानी को देखते हुए रेत पर चलने का मजा ही कुछ और है। इसके अलावा यहां कई तरह के जलपक्षियों को देख कर किसी का भी मन खिल उठेगा। खासतौर पर सूर्योदय और सूर्यास्त का नजारा देखने वाला होता है।
- भद्रेश्वर जैन मंदिर जैन धर्म के लोगों द्वारा बेहद पूजा जाता है। यह भद्रावती में स्थापित है। यहां पहुंच कर मन में शांति व सुकून-सा मिलता है। माना जाता है कि भद्रावती में 449 ईसा पूर्व से राजा सिद्धसेन का शासन था। मगर बाद में इस पर सोलंकियों ने अपना अधिकार कर लिया, जो जैन मतावलंबी थे। उन लोगों ने ही इस जगह का नाम बदलकर भद्रेश्वर रख दिया।
आप यहां पर सड़क मार्ग, रेल यात्रा व वायु मार्ग द्वारा भी जा सकते हैं।