
नारी डेस्क: एयर इंडिया की उस दुखद उड़ान के सह-पायलट क्लाइव कुंडर के मृत शरीर को गुरुवार, 19 जून की सुबह मुंबई लाया गया। यह वही विमान था जो 12 जून को अहमदाबाद में क्रैश हुआ था। गुजरात के मंत्री रुषिकेश पटेल ने बताया कि 19 जून की सुबह 8:30 बजे तक 210 लोगों के DNA की पुष्टि हो चुकी है। अब तक 187 शव उनके परिवारों को सौंपे जा चुके हैं। क्लाइव कुंडर के माता-पिता और एक छोटी बहन हैं जो उन्हें याद कर रहे हैं। 34 साल के इस पायलट के पास लगभग 1100 घंटे की उड़ान का अनुभव था। यह जानकारी नागरिक उड्डयन महानिदेशालय (DGCA) से मिली है।
हादसे के वक्त क्लाइव कुंडर का रोल
क्लाइव कुंडर उस विमान में सह-पायलट के रूप में तैनात थे, जबकि कप्तान के रूप में सुमीत सभरवाल मौजूद थे। यह दोनों बोइंग 787 ड्रीमलाइनर विमान उड़ाते थे। इस विमान में कुल 242 यात्री और चालक दल के सदस्य थे।
अंतिम यात्रा और अंतिम संस्कार
क्लाइव कुंडर के शव को मुंबई एयरपोर्ट पर एक उड़ान के जरिए लाया गया। उसके बाद परिवार वाले शव को उनके गोरेगांव (पश्चिम) के राम मंदिर रोड पर स्थित घर ले गए। शव को उनके घर पर दोपहर 1 बजे तक रखा जाएगा ताकि लोग उन्हें अंतिम श्रद्धांजलि दे सकें। इसके बाद उनका अंतिम संस्कार सेवरी क्रिश्चियन सिमेट्री में किया जाएगा।
क्लाइव कुंडर का प्रशिक्षण और करियर
क्लाइव कुंडर ने फ्लोरिडा, अमेरिका की पेरिस एयर नामक एविएशन स्कूल से ट्रेनिंग ली थी। उन्होंने एक निजी एयरलाइन में कुछ साल काम किया। पांच साल पहले उन्होंने एयर इंडिया ज्वाइन किया था। बॉलीवुड अभिनेता विक्रांत मेस्सी, जो क्लाइव कुंडर के परिवार के करीबी दोस्त हैं, ने इंस्टाग्राम पर इस दुखद घटना पर शोक जताया। उन्होंने मीडिया और आम जनता से अपील की है कि वे मृतकों के परिवार और दोस्तों को शांति से शोक मनाने दें।
टाटा समूह ने हर मृतक के परिवार को 1 करोड़ रुपए का एक्स ग्रेशिया मुआवजा देने का वादा किया है। इसके अलावा, मॉन्ट्रियल कन्वेंशन के तहत जो कानूनी मुआवजा मिलता है, वह भी दिया जाएगा।
विमान हादसे में विमान पर सवार सभी यात्री और चालक दल के सदस्य मारे गए। इसके साथ ही जमीन पर एक मेडिकल कॉम्प्लेक्स में भी 29 लोगों की जान गई। इस भयानक हादसे का एकलौता जीवित बचा व्यक्ति ब्रिटिश नागरिक है, जिसका नाम विश्वश कुमार रमेश है। वह विमान में सीट नंबर 11A पर बैठा था।