आज से तकरीबन 33 साल पहले दूरदर्शन पर प्रसारित होने वाले शो रामायण का इंतजार बच्चों से लेकर बड़ों तक को रहता था और आज लॉकडाऊन के चलते एक बार फिर लोग इस शो का आनंद ले रहे हैं। बता दें कि यह शो अपने समय का सबसे महंगा शो था। खबरों की माने तो उस जमाने में एक एपिसोड शूट करने के करीब 2 लाख रूपए लगते थे और इसकी शूटिंग तकरीबन 550 दिन चली थी।
लेकिन रामानंद सागर को इस शो को बनाने में कई दिक्कतें आई, कभी पैसे न होने की वजह से तो कभी लोगों का विश्वास न मिल पाने की वजह से, उनके पास पैसे नहीं थे कि वह रामायण शो शुरु कर सकें लेकिन खुद पर भरोसा जरूर था। उन्होंने डटकर चुनौतियों का सामना किया। चलिए आज आपको उन्हीं अनसुनी बातों के बारे में बताते हैं।
रामानंद वैसे तो सिनेमा इंडस्ट्री में काफी सक्रिय थे लेकिन एक दिन उनका मन बदला और उन्होंने टीवी इंडस्ट्री में काम करना चाहा जबकि उनके इस फैसले को बहुत से लोगों ने नकारा लेकिन उन्होंने फैंसला लिया कि वो रामायण बनाएंगे।
लोग उनके फैसले से खुश नहीं थे इसलिए उन्हें इसके लिए फंड्स इक्टठा करने में भी मुश्किल हुई थी क्योंकि लोगों को लगता था कि मुकुट और पूंछ वाला कॉन्सेप्ट नही चल पाएगा।
अब कहीं से फंड्स न मिलने के कारण रामानंद ने सोचा कि क्यों न अभी के लिए कुछ और बना लिया जाए और इसी के बाद उन्होंने 1986 में विक्रम बेताल नाम का शो बनाया। शो टीवी पर आते ही लोगों के दिलों को छू गया, हर तरफ इसी शो के चर्चे होने लगे। बस जब यह शो सुपरहिट हुआ तो रामानंद को रामायण के लिए फाइनेंसर्स मिलने लगे और फिर रामायण की शूटिंग शुरू कर दी गई। रामानंद का यह विश्वास हमें भी प्ररेणा देता है कि मेहनत-लगन कर और खुद पर विश्वास रख तुझे सफलता मिलेगी ही मिलेगी।
लॉकडाउन के चलते एक बार फिर यादें ताजा हो गई हैं हर कोई फिर वैसे ही रामायण का इंतजार करता है जैसे पहले।