
नारी डेस्क: पैरों में ऐंठन को अक्सर एक छोटी-मोटी परेशानी मानकर नजरअंदाज़ कर दिया जाता है - इसका कारण डिहाइड्रेशन, थकान या पूरे दिन खड़े रहना बताया जाता है। लेकिन पैरों में बार-बार ऐंठन आपके शरीर का किसी ज़्यादा गंभीर समस्या का संकेत हो सकता है। डॉक्टरों की मानें तो पैरों में ऐंठन कई अंदरूनी स्वास्थ्य समस्याओं की ओर इशारा कर सकती है जिन्हें नजरअंदाज नहीं करना चाहिए। आपके पैर आपको क्या बताने की कोशिश कर रहे हैं, यह समझना समस्याओं को जल्दी पहचानने और लंबे समय तक स्वास्थ्य की रक्षा करने में बहुत बड़ा फर्क ला सकता है।
पैरों में ऐंठन के 7 कारण
इलेक्ट्रोलाइट असंतुलन: सोडियम, पोटैशियम, कैल्शियम या मैग्नीशियम की कमी से मांसपेशियां अचानक सिकुड़ सकती हैं।
खून का संचार ठीक न होना: पैरों में रक्त प्रवाह कम होने पर खासकर चलने या सोते समय ऐंठन होती है।
डायबिटीज: डायबिटीज में नसों को नुकसान (न्यूरोपैथी) होने से पैरों में दर्द और ऐंठन हो सकती है।
किडनी से जुड़ी समस्याएं: किडनी ठीक से काम न करे तो शरीर में मिनरल्स का संतुलन बिगड़ जाता है।
थायरॉइड डिसऑर्डर: हाइपोथायरॉइडिज़्म में मांसपेशियों की कमजोरी और ऐंठन आम है।
कुछ दवाओं का साइड इफेक्ट: बीपी, कोलेस्ट्रॉल या डाययुरेटिक दवाएं ऐंठन का कारण बन सकती हैं।
लंबे समय तक बैठना या गलत पोस्चर: एक ही स्थिति में देर तक बैठे रहने से मांसपेशियां अकड़ जाती हैं।
कब सतर्क हो जाएं?
अगर ऐंठन बार-बार हो, रात में नींद टूटे, दर्द के साथ सुन्नपन या जलन भी हो आराम करने पर भी ठीक न हो तो डॉक्टर को एक बार जरूर दिखाएं। ऐसे में पैरों में ऐंठन को हल्के में न लें। यह सिर्फ पानी की कमी नहीं, बल्कि किसी गंभीर स्वास्थ्य समस्या का शुरुआती संकेत भी हो सकती है।