कई बार अचानक हमारी आंख फड़कने लगती है, जिसको लेकर लोगों के बीच धार्मिक मान्यताओं फैली हुई हैं कि ये कोई शुभ या अशुभ चीजों के संकेत हो सकते हैं। लेकिन आपको आपको बता दें कि ये आपकी बिगड़ते हेल्थ के भी संकेत हो सकते हैं। चलिए आपको बताते हैं कि आंखों के नीचे या ऊपर की पलकों के पकड़ने की असल वजहें क्या हो सकती हैं। आइए आपको बताते हैं इसके बारे में...
आंख फड़फड़ाने के ये हो सकते हैं कारण
गंभीर बीमारी की चेतवानी
अगर नीचे और ऊपर की दोनों पलकें एक हफ्ते से ज्यादा लगातार फड़कती रहें, तो इसे गंभीर बीमारी की चेतवानी माना जाता है। जी हां, ये मायोकेमिया के कारण हो सकता है। ये मांसपेशियों के सिकुड़न के कारण होता है। इससे आंख की नीचे वाली पलक पर ज्यादा असर पड़ता है। ये बहुत थोड़े समय के लिए होता है और लाइफस्टाइल में बदलाव से इसे कंट्रोल किया जा सकता है।
ब्लेफेरोस्पाज्म और हेमीफेशियल स्पाज्म
ये दोनों वैसे बेहद गंभीर मेडिकल कंडीशन हैं। ब्लेफेरोस्पाज्म ज्यादा गंभीर है, जिसमें इंसान की आंख पर कुछ सेकंड, मिनट या कुछ घंटों तक फर्क पड़ सकता है। इसमें ऐंठन इतनी ज्यादा तेज होती है कि इंसान की आंख तक बंद हो सकती है। इसमें लोग चाहकर भी आंख फड़कने की एक्टिविटी को कंट्रोल नहीं कर सकते हैं।
स्ट्रेस
कई बार किसी बारे में ज्यादा सोचने से चिंता होने लगती है। इसका प्रभाव आंखों पर भी पड़ता है, जिस कारण आंख फड़कने लगती है।
नींद की कमी
बिजी लाइफस्टाइल और दिनभर के स्ट्रेस के चलते रात में ठीक से नींद नहीं आती है। ऐसे में कुछ मिनटों के लिए आंखों का फड़कना शुरु हो जाता है।
आई स्ट्रेस
आंख का फड़कना आपके आई स्ट्रेन की ओर भी ईशारा करता है। ऐसा लगातार होने पर आपको डॉक्टर से संपर्क करें।
कैफीने के ज्यादा सेवन से
कहते हैं की चाय- कॉफी के सेवन से सिर दर्द दूर होता है, पर ये सच नहीं है। इसके ज्यादा सेवन से आंख फड़क सकती हैं। चाय, कॉफी, सॉफ्ट ड्रिंक्स या चॉकलेट खाने की वजह से आंख फड़क सकती हैं। ऐसे में कैफीन वाली चीजों से दूर रहें।
अल्कोहल
कई बार ज्यादा मात्रा में शराब का सेवन करने से भी आंखें फड़कने लगती हैं। इसलिए इसका सीमित मात्रा में सेवन करें।
बस इन सारी चीजों पर थोड़ा कंट्रोल रखें जो आंख फड़कने की समस्या से आपको निजात मिल जाएगी।