हर साल आषाढ़ मास के शुक्ल पक्ष की पूर्णिमा को गुरु पूर्णिमा यह पावन पर्व मनाया जाता है। इस दिन गुरुओं की पूजा करना व उनका आशीर्वाद लेने का महत्व है। इस साल यह पर्व 23 जुलाई को मनाया गया। मगर कुछ राज्यों के लोग इसे 24 तारीख को भी मना रहे हैं। ज्योतिष के मुताबिक अगर इस दिन कुछ खास उपाय किए जाएं तो व्यक्ति के जीवन में सुख-समृद्धि का आती है। इसके अलावा एकाग्रता, बुद्धि और स्मरण शक्ति भी बढ़ती है। तो चलिए जानते हैं उन महाउपायों के बारे में...
केसर के धागों का तिलक
ज्योतिष के अनुसार, अगर बच्चे या आपकी स्मरण शक्ति कमजोर है यानि उसे कुछ भी पढ़ा-लिखा याद नहीं रहता तो ऐसे में केसर के कुछ धागे लेकर गंगाजल में घोलें। इस घोल से गुरु पूर्णिमा से लेकर आने वाले 40 दिनों तक बच्चे और अपने माथे, कंठ और नाभी पर तिलक करें। ऐसा करने से एकाग्रता और स्मरण शक्ति बढ़ेगी।
पीपल के वृक्ष पर जल चढ़ाएं
कुंडली में अगर कोई दोष है तो गुरु पूर्णिमा के दिन सुबह पीपल के वृक्ष पर जल चढ़ाएं। साथ में 7 बार कच्चा सूत लपेटते हुए 7 बार परिक्रमा करें। इस उपाए से ग्रह दोष खत्म हो जाएगा।
केले के पेड़ दान करें
विवाह से संबंधित परेशानी आ रही है तो गुरु पूर्णिमा के दिन लक्ष्मी-नारायण मंदिर में केले के दो पेड़ दान करें। इससे विवाह से जुड़ी समस्या दूर हो जाएगी।
पीले रंग के वस्त्र या फूल दान करें
सही मार्गदर्शन या ज्ञान की प्राप्ति के लिए अपने गुरु को पीले रंग के वस्त्र, फूल या पीले रंग का तोहफा भेंट करें। ऐसा करने से गुरु का आशिर्वाद मिलेगा और जीवन आ रही समस्याएं भी समाप्त होंगी। जिनका कोई गुरु नहीं हैं वो भगवान शिव, भगवान विष्णु या श्री कृष्ण को ये सब दान करें।
चौराहे पर सिक्का दबाएं
नौकरी मिलने में मुश्किल आ रही है तो शाम के समय सुनसान जगह या चौराहे पर एक सिक्का दबा दें। ध्यान रहे कि सिक्का दबाने के बाद पीछे मुड़कर ना देखें। ये उपाए करने से जल्द ही नौकरी मिलेगी।