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पेनकिलर ही नहीं, एसिडिटी की ये दवाएं भी कर सकती हैं किडनी खराब, डॉक्टर ने दी चेतावनी

  • Edited By Priya Yadav,
  • Updated: 16 Dec, 2025 11:52 AM
पेनकिलर ही नहीं, एसिडिटी की ये दवाएं भी कर सकती हैं किडनी खराब, डॉक्टर ने दी चेतावनी

नारी डेस्क:  हमारी किडनी शरीर के लिए बहुत जरूरी अंग हैं। ये खून को साफ करती हैं, शरीर से गंदगी बाहर निकालती हैं और पानी का संतुलन बनाए रखती हैं। अगर किडनी ठीक से काम न करें, तो पूरे शरीर पर इसका बुरा असर पड़ता है। लेकिन कई बार हमारी कुछ गलत आदतें किडनी को नुकसान पहुंचा देती हैं, जिनमें बिना डॉक्टर की सलाह के दवाइयां लेना सबसे बड़ी वजह है। अब तक ज्यादातर लोग यह जान चुके हैं कि दर्द निवारक दवाओं (पेनकिलर) का लंबे समय तक सेवन किडनी के लिए खतरनाक होता है। लेकिन बहुत कम लोग जानते हैं कि एसिडिटी के लिए ली जाने वाली कुछ आम दवाएं भी किडनी को नुकसान पहुंचा सकती हैं।

एसिडिटी की दवाओं से कैसे होती है किडनी डैमेज?

किडनी विशेषज्ञ डॉक्टर अर्जुन सभरवाल के अनुसार, अगर एसिडिटी की समस्या के लिए लंबे समय तक कुछ खास दवाओं का सेवन किया जाए, तो इससे किडनी खराब हो सकती है। उन्होंने बताया कि पैंटोप्राजोल, ओमेप्राजोल और लैंसोप्राजोल जैसी दवाएं PPIs (Proton Pump Inhibitors) कहलाती हैं। ये दवाएं पेट की एसिडिटी कम करने में मदद करती हैं, लेकिन अगर इन्हें महीनों तक बिना डॉक्टर की निगरानी के लिया जाए, तो ये किडनी पर बुरा असर डाल सकती हैं।

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कौन-सी बीमारी हो सकती है?

डॉक्टर के मुताबिक, लंबे समय तक PPIs लेने से एक्यूट इंटरस्टीशियल नेफ्राइटिस नाम की बीमारी हो सकती है। इसमें किडनी में अचानक सूजन आ जाती है। इस दौरान मरीज का क्रिएटिनिन लेवल तेजी से बढ़ जाता है, लेकिन कई बार मरीज को कोई खास लक्षण महसूस नहीं होते। अगर समय रहते इसका इलाज न किया जाए, तो आगे चलकर क्रोनिक किडनी डिजीज (CKD) का खतरा भी बढ़ सकता है।

भारत में एसिडिटी की असली वजह क्या है?

अक्सर लोग एसिडिटी के लिए तनाव, मसालेदार खाना या देर रात भोजन को जिम्मेदार मानते हैं। लेकिन डॉक्टर का कहना है कि भारत में लंबे समय से चली आ रही एसिडिटी के आधे से ज्यादा मामले H. Pylori नाम के बैक्टीरिया की वजह से होते हैं। यह बैक्टीरिया आम एसिडिटी की दवाओं से खत्म नहीं होता और इसके लिए अलग तरह का इलाज जरूरी होता है। सिर्फ PPIs लेने से समस्या दब जाती है, लेकिन जड़ से खत्म नहीं होती।

फिर डॉक्टर PPIs क्यों देते हैं?

डॉक्टर बताते हैं कि जब ये दवाएं डॉक्टर द्वारा सही डोज और सही समय के लिए दी जाती हैं, तो ये सुरक्षित होती हैं। डॉक्टर मरीज की हालत, रिपोर्ट और दवा के असर पर लगातार नजर रखते हैं। जरूरत पड़ने पर दवा की मात्रा कम या बदल भी दी जाती है। हर दवा को फायदे और नुकसान दोनों को देखकर ही दिया जाता है, इसलिए डॉक्टर से फॉलो-अप बहुत जरूरी होता है।

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‘मल्टीविटामिन’ की तरह लेना सबसे खतरनाक

डॉक्टर का कहना है कि असली खतरा दवाओं से नहीं, बल्कि उन्हें बिना जरूरत और लंबे समय तक लेते रहने से है। बहुत से लोग PPIs को मल्टीविटामिन की तरह रोज खाने लगते हैं, जो गलत है। अगर आप 2 हफ्तों से ज्यादा समय से एसिडिटी की दवा ले रहे हैं, तो बिना देर किए डॉक्टर से संपर्क करें। वरना इसके गंभीर और खतरनाक परिणाम हो सकते हैं।

डिस्क्लेमर-यह जानकारी सोशल मीडिया (इंस्टाग्राम रील) पर साझा की गई जानकारी पर आधारित है। किसी भी दवा को शुरू करने या बंद करने से पहले डॉक्टर या विशेषज्ञ की सलाह जरूर लें।   

 

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