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Periods में आते है खून के थक्के तो गौर करें, ये है बच्चेदानी में रसोलियों की निशानियां !

  • Edited By Vandana,
  • Updated: 30 Mar, 2023 12:44 PM
Periods में आते है खून के थक्के तो गौर करें, ये है बच्चेदानी में रसोलियों की निशानियां !

महिलाएं शादी के बाद फैमिली और बच्चों को संभालने में इतना व्यस्त हो जाती हैं कि खुद की सेहत पर ध्यान नहीं देती। नतीजा उन्हें कम उम्र में ही हैल्थ प्रॉब्लम होने लगती है। आज थायराइड, पीसीओडी जैसी प्रॉब्लम्स आम हो गई है इन्हीं के बीच एक कॉमन प्रॉब्ल्म बन गई है बच्चेदानी की रसौलियां। पहले ये 35-40 उम्र की महिलाओं में होती थी लेकिन अब छोटी उम्र की लड़कियों को भी ये प्रॉब्लम होने लगी है।

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अगर आपको पीरियड्स में ज्यादा ब्लीडिंग और खून के मोटे थक्के आते हैं
पीरियड्स के दौरान असहनीय दर्द होता है।
बार बार यूरिन आता है,
नाभि के नीचे दर्द या पीठ के निचले हिस्से में दर्द रहता है
इंटरकोर्स के समय दर्द होता है,
पेट के निचले हिस्से में भारीपन महसूस होता है,
पेट में सूजन
पैरों में ऐंठन और दर्द
कमजोरी और कब्ज रहती है,

तो ये लक्षण रसौलियों के हो सकते हैं जिसे हम बच्चेदानी की गांठें कहते हैं। इसे फायब्रॉइड्स कहते हैं। ये गांठें पीरियड्स से लेकर प्रैग्नेंसी तक में परेशानी पैदा कर सकती हैं। ये रसौलियां क्यों बनती हैं इसकी कोई ठोस वजह नहीं पता चल सकी है हालांकि आमतौर पर इसकी वजह अनहैल्दी खान-पान, मोटापा, हार्मोनल प्रॉबल्म्स, गर्भ निरोधक गोलियों का ज्यादा सेवन, सही उम्र में मां ना बनना और कुछ केसेज में आनुवांशिकता माने गए है।

वैसे तो यह दवाइयों की मदद से ठीक हो जाती हैं लेकिन अगर रसौलियों का आकार बड़ा हो चुका हो तो डॉक्टर सर्जरी की सलाह भी दे सकते हैं। हालांकि कई बार भले ही यूट्रस में कोई फायब्रॉइड छोटा सा हो, लेकिन प्रेग्नेंसी के दौरान वह भी गर्भ की तरह ही बढ़ने लगता है। ऐसी स्थिति में डॉक्टरी जांच बहुत जरूरी होती है।

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रसौलियों की परेशानी ना हो इसके लिए जरूरी है लाइफस्टाइल को हैल्दी रखना।

अपनी डाइट में कुछ चीजों को जरूर शामिल करें। जैसे ग्रीन टी का सेवन करें। दिन में 1 से 2 कम ग्रीन टी जरूर पीएं। प्याज और लहसुन ज्यादा खाएं।

हल्दी का सेवन भी बहुत जरूरी है। आप हल्दी वाला दूध भी पी सकते हैं। पानी ज्यादा पीएं।

खट्टे फल खाएं। जैसे संतरा मौसमी, नींबू कीवी आदि। आंवला जरूर लें। रोजाना एक चम्मच आवंला पाउडर पानी या एक चम्मच शहद के साथ खाली पेट लें।

मुट्टीभर बादाम जरूर खाएं। सूरजमुखी के बीजों में भी काफी सारा अच्‍छा फैट और फाइबर होता है जो रसौली बनने नहीं देते।

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क्या ना खाएं?

प्रोसेस्ड फूड, तली भुनी चीजें, मैदा पेस्ट्री और हाई शुगर चीजें खाने से परहेज करें।

एक्सरसाइज और सैर जरूर करें। पश्चिमोत्तानासन, भुजंगासन, मंडुकासन, पवनमुक्तासन योगासन करें।

लाइफस्टाइल हैल्दी होगा तो आप हर तरह की बीमारियों से बची रहेगी।

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