
नारी डेस्क : पोलैंड की रहने वाली मिरेला नाम की लड़की महज 15 साल की उम्र में अचानक गायब हो गई थी। पिता ने पड़ोसियों और रिश्तेदारों से कहा कि बेटी कहीं चली गई है। किसी को शक भी नहीं हुआ। लेकिन 27 साल बाद, जब पुलिस ने उसके घर में छापा मारा, तो पूरा सच सामने आया। मिरेला को उसके ही घर के एक कमरे में बंद रखा गया था।

पुलिस की सूझबूझ से खुला मामला
कुछ पड़ोसियों ने पुलिस को सूचना दी कि उस घर से अजीब आवाजें आ रही हैं। जब पुलिस पहुंची तो एक 82 साल की बुजुर्ग महिला (मिरेला की मां) ने दरवाजा खोला और सब कुछ ठीक बताया। लेकिन पुलिस को शक हुआ और जबरन अंदर गई। वहां उन्हें एक महिला मिली। कमजोर, डर से कांपती, और बुरी तरह घायल। जब डॉक्टरों ने जांच की तो पाया कि उसके पैर सड़ चुके थे, शरीर में इंफेक्शन फैल चुका था और अगर कुछ दिन और कैद में रहती, तो उसकी मौत हो जाती।

27 साल तक कमरे में क्यों रखा गया?
अब तक यह साफ नहीं हो पाया है कि पिता ने बेटी को इतने सालों तक कैद क्यों रखा। कुछ रिपोर्ट्स में कहा जा रहा है कि पिता मानसिक रूप से बीमार था या अत्यधिक पजेसिव नेचर का था। पुलिस अब पूरे मामले की जांच कर रही है और उम्मीद है कि मिरेला को अब आखिरकार न्याय और आज़ादी दोनों मिलेंगी। यह घटना सिर्फ एक खबर नहीं, बल्कि एक चेतावनी है कि कभी-कभी सबसे बड़ा खतरा घर के अंदर ही छिपा होता है। 27 साल तक बंद रहकर मिरेला की ज़िंदगी तो लगभग खत्म हो चुकी है, लेकिन उसकी कहानी दुनिया को मानवता और स्वतंत्रता के मूल्य याद दिलाती है।