कुछ महिलाएं किसी जरुरी मीटिंग या फिर फंक्शन के चक्कर में पीरियड्स को पोस्ट पोन करने वाली दवाओं का सेवन करती हैं। साल में एक या दो बार इन दवाओं का सेवन आपके लिए ठीक है मगर जो औरतें 2 से ज्यादा बार इन दवाओं का सेवन करती हैं, उन्हें कई तरह की हेल्थ प्रॉब्लम का सामना करना पड़ सकता है। आइए जानते हैं पीरियड्स को पोस्ट पोन करने वाली दवाओं का काम और शरीर पर उनका होने वाला असर...
पीरियड साइकिल होता है प्रभावित
पीरियड्स को आगे बढ़ाने वाली गोलियां बार-बार खाने से आपका मासिक धर्म का साइकल बिगड़ सकता है। इस बात का अंदेशा शायद आपको अब न चलें, मगर भविष्य में बेबी कंसीव करने के दौरान आपको मुश्किल हो सकती है।
बच्चेदानी की रसौलियां
जो महिलाएं इन दवाओं का सेवन रुटीन में करती हैं, उन्हें बच्चेदानी में रसौलियों की समस्या देखनी पड़ती है। असल में जब आपका पीरियड साइकिल बिगड़ जाएगा तो पीरियड्स के दौरान होने वाली ब्लीडिंग आपकी बॉडी में ही रह जाएगी, जिस वजह से यह आपकी बच्चेदानी में रसौलियों की वजह बनेंगी। यही वजह है कि भविष्य में आपको बेबी कंसीव करने में समस्या का सामना करना पड़ेगा।
ब्लीडिंग ज्यादा होना
हर औरत का बॉडी सिस्टम अलग होता है, कुछ महिलाओं को जहां पीरियड्स रुककर आने लगते हैं, वहीं कुछ महिलाओं में ब्लीडिंग ज्यादा भी होने लगती है।
पेट बढ़ना
पीरियड्स रेगुलर न होने की वजह से बेवजह पेट पर चर्बी जमा होने लगती है। इस चर्बी को एक्सरसाइज या फिर अन्य किसी एक्टिविटी द्वारा घटाना मुश्किल हो जाता है।
लिवर पर बुरा असर
पीरियड्स रोकने वाली टेबलेट्स जहां ये सब समस्याएं देती हैं, वहीं इनका बुरा असर आपके लिवर और किडनी पर भी पड़ता है। चेहरे पर पिंपल्स, झाइंयां उम्र से पहले सफेद बाल और झुर्रियों की वजह भी यही गोलियां बनती हैं।
इन सब के अलावा...
-थकान और कमजोरी महसूस करना।
-पेट खराब, पेट में दर्द और सूजन।
-प्राइवेट पार्ट में इंफेक्शन, इरीटेशन, यूरीन करते वक्त जलन महसूस होना।
पीरियड्स को पोस्ट पोन करने का एक आम नुस्खा है, पुराने बुजुर्ग कहते थे, पैर के अंगूठे पर काला धागा बांधने से 2 से 3 दिन के लिए पीरियड्स पोस्ट पोन हो सकते हैं। मगर ऐसा भी आप जितना कम करेंगी उतना बेहतर होगा। प्रकृति के नियमों के साथ जितनी कम छेड़छाड़ करें उतना ही हमारे लिए बेहतर है।