मैग्नीशियम क्या है: खुद को सेहतमंद रखने के लिए संतुलित डाइट लेना बहुत जरूरी है। इसमें प्रोटीन, विटामिन, आयरन, खनिजों का पर्याप्त मात्रा में सेवन करना बहुत जरूरी है। इनमें से मैग्नीशियम भी हमारे शरीर को सचारू रूप से चलाने के लिए काफी महत्वपूर्ण है हालांकि ज्यादातर लोगों को इसके गुणों के बारे में अधिक जानकारी नहीं होती। शरीर में 50 प्रतिशत से भी ज्यादा मैग्नीशियम हड्डियों में पाया जाता है। यह इम्यून सिस्टम को मजबूत करता है। इसकी कमी शरीर के लिए घातक हो सकती हैं जबकि ज्यादा मात्रा से डायरिया की समस्या हो सकती है।
मैग्नीशियम की कमी के लक्षण (Magnesium Deficiency Symptoms )
सिरदर्द और अनिद्रा
इसकी कमी से अनिद्रा, सिरदर्द और डिप्रेशन की समस्या हो सकती हैं। मानसिक रोगों से बचने के लिए मैग्नीशियम बहुत जरूरी है।
दिल की बीमारिया
मैग्नीशियम दिल के लिए भी बहुत फायदेमंद है। इसकी कमी हार्ट अटैक के खतरे को बढ़ा देती है। इसलिए दिल को बीमारियों से सुरक्षित रखने के लिए मैग्नीशिय भरपूर आहार जरूर खाएं।
याददाश्त कमजोर
इसकी कमी आपके याद रखने की क्षमता को भी प्रभावित करने लगती है क्योंकि मैग्नीशियम ब्रेन सेल्स से लेकर शरीर के सभी सेल्स को सही ढंग से काम करने में जरूरी होता है। इसलिए मेमोरी पॉवर बढ़ाने के लिए मैग्नीशियम लें।
डायबिटीज और हाइपरटेंशन का खतरा
मैग्नीशियम की कमी से टाइप2 डायबिटीज और ब्लड प्रैशर बढ़ने की संभावना हो सकती हैं।
मैग्नीशियम प्रेगनेंसी के दौरान बहुत जरूरी है
गर्भवती महिला और उसके होने वाले बच्चे के लिए मैग्नीशियम बहुत जरूरी है। यह बॉडी सेल्स की मुरम्मत के प्रैग्नेंट महिला को 350-400 मिलीग्राम ज्यादा मैग्नीशियम की जरूरत होती हैं। इसकी कमी भ्रूण के विकास में रूकावट डालती है।
मैग्नीशियम उम्र के हिसाब से रोजाना चाहिए कितना मैग्नीशियम
19-30 साल के पुरुषः 400 मिलीग्राम
19-30 साल की महिलाएंः400 मिलीग्राम
31 साल से अधिक पुरुषः 420 मिलीग्राम
31 साल से अधिक महिलाः320 मिलीग्राम
गर्भवती महिलाएंः 350-400 मिलीग्राम
मैग्नीशियम के स्त्रोत (Magnesium Rich Foods)
नट्स में बादाम और काजू, हरी पत्तेदार सब्जियां जैसे पालक, कद्दु के बीज, सोया मिल्क, काले बीन्स, पीनट बटर, मूंगफली, गेहूं की ब्रैड, एवोकाडो, रोस्टेड आलू, ब्राऊन राइस, दही, ओट्स, फलियां व फलों आदि में मैग्नीशियम भरपूर पाया जाता है इसलिए इसे अपनी डाइट में जरूर शामिल करें।