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Pahalgam Attack: "डोंट वरी, स्टे स्ट्रांग..." आतंकी हमले में दम तोड़ने से पहले पति के आखिरी शब्द

  • Edited By PRARTHNA SHARMA,
  • Updated: 25 Apr, 2025 11:33 AM
Pahalgam Attack:

नारी डेस्क: जम्मू-कश्मीर के खूबसूरत पहलगाम इलाके में हाल ही में हुआ आतंकी हमला पूरे देश को झकझोर गया। इस हमले में कर्नाटक के बेंगलुरु निवासी तकनीकी विशेषज्ञ भारत भूषण की निर्मम हत्या कर दी गई। इस हादसे के बाद उनकी पत्नी सुजाता ने जो कहानी साझा की, वह दिल को छू लेने वाली है। आतंकवादियों की गोलीबारी के बीच भारत भूषण ने अपने परिवार को आखिरी पल में भी हिम्मत दी।

"चिंता मत करो, मजबूत रहो",मरने से पहले का आखिरी संदेश

बैसरन वैली में जब आतंकवादियों ने हमला किया, उस समय भारत भूषण अपने परिवार के साथ थे। जैसे ही आतंकियों ने गोलियां चलानी शुरू कीं, भारत भूषण ने घबराने की बजाय अपने परिवार को साहस भरे शब्दों में समझाया। उन्होंने कहा, "चिंता मत करो, चिंता मत करो... मजबूत रहो।" लेकिन अफ़सोस, उनके इन शब्दों के बावजूद आतंकियों ने उन पर दया नहीं दिखाई और उन्हें गोली मार दी।

हमले की शुरुआत कैसे हुई? पत्नी सुजाता की जुबानी

सुजाता ने बताया कि वह उस समय एक टेंट के पास खड़ी होकर पारंपरिक कश्मीरी पोशाक देख रही थीं। तभी अचानक एक आतंकी वहां आया। उसने पहले एक पर्यटक को गोली मार दी, फिर सीधे सुजाता और अन्य लोगों की तरफ बढ़ा।

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आतंकी ने वहां मौजूद लोगों से सवाल किया, "तुम लोग यहां कैसे खुश हो सकते हो, जबकि हमारे बच्चे मारे जा रहे हैं? क्या तुम लोग हमारे बारे में कुछ नहीं पढ़ते?" इसके बाद उसने एक और पर्यटक को गोली मार दी और फिर भारत भूषण की ओर बंदूक तान दी।

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"भारत" कहते ही चलाई गोली

सुजाता ने बताया कि जब आतंकी ने उनके पति से नाम पूछा, तो उन्होंने शांतिपूर्वक जवाब दिया,"मेरा नाम भारत है।" बस इतना सुनते ही आतंकी ने उनके सिर पर तीन गोलियां चला दीं। सुजाता के अनुसार, वह जानती थी कि सिर में गोली लगने के बाद उनके पति का बचना मुश्किल था।

डॉक्टर पत्नी की व्यथा: "मैं जानती थी वह नहीं बचेंगे"

सुजाता पेशे से एक डॉक्टर हैं। उन्होंने कहा कि गोली लगते ही वह पति के पास भागी, उनका बटुआ उठाया और आसपास रखे सामान – जैसे बीएसएनएल का पोस्टपेड फोन और बैग – लेकर वहां से भागीं। "डॉक्टर होने के नाते मुझे पता था कि सिर में गोली लगने के बाद उनके बचने की कोई उम्मीद नहीं थी।"

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बेटे को लेकर जान बचाकर भागी

हमले के दौरान सुजाता अपने बेटे के साथ थीं। उन्होंने बताया कि वह भागती रही और पीछे मुड़कर देखती रही कि कहीं आतंकी पीछा तो नहीं कर रहे। चारों ओर शव पड़े थे और अफरातफरी का माहौल था। "मैं घोड़े पर बेटे को लेकर बैठी और वहां से भाग निकली।" इसके बाद सीआरपीएफ ने उन्हें सुरक्षित स्थान पर पहुंचाया और उनकी देखभाल की। भारत भूषण का पार्थिव शरीर गुरुवार को दोपहर करीब 3:45 बजे एक विशेष विमान से बेंगलुरु लाया गया। वहां उनका अंतिम संस्कार राजकीय सम्मान के साथ किया गया। इस हमले के बाद NIA ने तेजी से कार्रवाई शुरू कर दी है। चश्मदीदों के बयान के आधार पर तीन आतंकवादियों के स्केच जारी किए गए हैं और उनके नाम भी सामने आए हैं।

पीएम और गृह मंत्री एक्शन में, पाकिस्तान पर कड़ी नजर

हमले के बाद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और गृह मंत्री अमित शाह ने स्थिति का जायजा लिया। अमित शाह ग्राउंड लेवल पर भी एक्टिव हैं। खबरों के मुताबिक, गृह मंत्री की आंखों में जो गुस्सा था, उसे देखकर पाकिस्तान की नींद उड़ गई होगी।

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