गर्मी के मौसम ने दस्तक दे दी है। इस मौसम में चलने वाली गर्म हवाओं से कई बीमारियों की संभावना बढ़ जाती है, जिसमें से हीट स्ट्रोक यानि उष्माघात (Heat Stroke) भी एक है। इसके कारण शरीर का तापमान बढ़ जाता है, जिसका असर इलाज ना किया जाए तो सेहत बुरी तरह प्रभावित हो सकती है। बहुत से लोग हीट एक्जाशन (Heat Exhaustion) और हीट स्ट्रोक को लेकर कंफ्यूज हो जाते हैं लेकिन इन दोनों के बीच बहुत अंतर है।
क्या है हीट स्ट्रोक?
यह हीट रिलेटेट सिंड्रोम (Heat Related Syndrome) की सबसे गंभीर स्थिति में से भी एक है। हीट स्ट्रोक की स्थिति हीट इंडेक्स (Heat Index) के कारण उत्पन्न हो सकती है, जो सूरज का पारा चढ़ने के साथ बढ़ जाता है।एक्सपर्ट के मुताबिक, शरीर का सामान्य तापमान 97 डिग्री सेल्सियस से 98 डिग्री सेल्सियस के बीच होना चाहिए।
हीट एक्जाशन और हीट स्ट्रोक के बीच फर्क
हीट एक्जाशन में शरीर का टेम्परेचर 104 डिग्री से अधिक नहीं बढ़ता है जबकि हीट स्ट्रोक में बॉडी टेम्परेचर व दिल की धड़कन काफी बढ़ जाती है। हीट एक्जाशन में सिर्फ पसीना निकलता है लेकिन हीट स्ट्रोक में पसीना निकलने की बजाए शरीर में ज्यादा गर्मी बन जाती है।
हीट एक्जाशन के कारण व लक्षण
हीट एक्जाशन जंक या प्रोसेस्ड फूड, तेज धूप लगने के कारण हो सकती है, जिसके कारण अधिक पसीना और चक्कर जैसे लक्षण दिख सकते हैं।
हीट स्ट्रोक के कारण (Causes of Heat Stroke)
1. तेज धूप में बाहर निकलना
2. जंक फूड में मोनोसोडियम, ग्लूटामेंट्स जैसे हानिकारक पदार्थ होते हैं, जो शरीर में गर्मी बढ़ा देते हैं।
3. डिहाइड्रेशन यानि शरीर में पानी की कमी
4. थायरॉइड का असंतुलित होना
5. ब्लड प्रेशर का बढ़ना या कम होना
हीट स्ट्रोक के लक्षण
. तेज बुखार (High Fever)
. बल्ड प्रेशर अचानक कम होना
. चक्कर या उल्टी आना
. मांसपेशियों में अकड़न
. लगातार तेज पसीना आना
. कमजोरी , थकावट, बेहोशी
. त्वचा पर चकत्ते पढ़ना (Skin Rashes)
. लगातार तेज सिरदर्द
. सांस लेने में दिक्कत, घबराहट व बेचैनी
. शरीर में पानी की कमी, आंखों में जलन आदि
किन लोगों को अधिक खतरा
- जिन लोगों की प्रतिरोधक क्षमता कम हो
- तेज धूप में अधिक समय तक काम करने वाले लोग
- शिशुओं, छोटे बच्चों या 65 वर्ष से अधिक आयु वाले बुजुर्ग
- मोटापा, डायबिटीज, मानसिक बीमारी, अधिक शराब पीना, ब्लड प्रेशर की दवा खाने वाले को इसका अधिक खतरा होता है।
हीट स्ट्रोक से कैसे करें बचाव
1. लू से बचने के लिए सिर, मुंह और हाथ को किसी हल्के कपड़े से कवर करें। साथ ही खुले और हवादार कपड़े पहनें। सनस्क्रीन व सनग्लासिज लगाएं और छाता लेकर ही तेज धूप में जाएं।
2. इन दिनों में चाय-कॉफी, जंक व प्रोसेस्ड फूड्स, शराब व अन्य नशीले पदार्थ का सेवन भी कम से कम करें। इसके अलावा शुगर वाले पेय पदार्थ जैसे कोल्ड ड्रिंक्स, एनर्जी ड्रिंक्स आदि का सेवन करने से भी परहेज करें।
3. बॉडी को हाइड्रेट रखने के लिए दिनभर में कम से कम 8-9 गिलास पानी पीएं। इसके अलावा नारियल पानी, जूस, स्मूदी, लस्सी, नींबू पानी आदि भी पीते रहें।
4. संतुलित और पौष्टिक आहार लें और डाइट में फल, सब्जियां, नट्स आदि चीजें शामिल करें।
5. तेज धूप होने पर व्यायाम या साइकिलिंग करने की बजाए सुबह योग करें।
6. गर्म कमरें में बैठने से बचें और बॉडी टेम्परेचर को कंट्रोल करने के लिए ठंडे पानी से ही नहाएं।
याद रखें हीट स्ट्रोक तभी खतरनाक होगा जब आप लापरवाही बरतेंगे। गंभीर होने पर इसके कारण व्यक्ति की जान तक जा सकती है। ऐसे में सावधानी रखना बहुत जरूरी है। अगर कोई भी लक्षण दिखें तो तुरंत डॉक्टर से चेकअप करवाएं।