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Janmashtami 2024: यहां पढ़िए कृष्ण जन्माष्टमी की पावन कथा

  • Edited By Vandana,
  • Updated: 22 Aug, 2024 05:31 PM
Janmashtami 2024: यहां पढ़िए कृष्ण जन्माष्टमी की पावन कथा

नारी डेस्क: हर साल कृष्ण जन्माष्टमी का पर्व श्रद्धा और उत्साह के साथ मनाया जाता है। इस वर्ष, कृष्ण जन्माष्टमी 26 और 27 अगस्त दोनों दिन को मनाई जाएगी। इस दिन श्रद्धालु व्रत रखते हैं और भगवान कृष्ण के जन्म की पावन कथा सुनते हैं, जिससे उन्हें कान्हा का आशीर्वाद प्राप्त होता है। यह पर्व दो दिनों तक मनाया जाता है। 

कृष्ण जन्माष्टमी की कथा

भगवान श्री कृष्ण का जन्म भारतीय पौराणिक कथाओं के अनुसार, श्रावण मास की पूर्णिमा तिथि को हुआ था, जिसे जन्माष्टमी के रूप में मनाया जाता है। इस समय कंस नामक एक अत्याचारी राजा राज्य कर रहा था, और उसकी बहन देवकी और देवकी के पति वासुदेव को भगवान विष्णु के अवतार के रूप में कृष्ण के जन्म के बारे में भविष्यवाणी प्राप्त हुई थी। इस भविष्यवाणी के अनुसार, देवकी और वासुदेव के आठवें संतान का वध कंस द्वारा किया जाएगा। इस डर से कंस ने देवकी और वासुदेव को जेल में डाल दिया और उन्हें कहा कि वे केवल एक बच्चे को जीवित रख सकते हैं। भगवान कृष्ण का जन्म हुआ, और वासुदेव ने कृष्ण को जेल से बाहर निकालकर गोकुल के नंद बाबा और यशोदा माता के पास सुरक्षित रूप से भेज दिया। गोकुल में, कृष्ण ने अनेक चमत्कार किए और कई राक्षसों का वध किया। उनका बचपन माखन चोरी, गोवर्धन पूजा, और राधा-कृष्ण की प्रेम कहानी जैसे महत्वपूर्ण घटनाओं से भरा हुआ था। भगवान कृष्ण ने गीता में जीवन के रहस्यों का खुलासा किया और बताया कि धर्म का पालन, कर्मों के प्रति निष्ठा, और जीवन के मूल्यों को समझना आवश्यक है। उनके उपदेश आज भी लोगों को प्रेरित करते हैं और जीवन में धर्म, प्रेम, और अच्छाई का पालन करने की सीख देते हैं।श्री कृष्ण का जीवन और उनकी लीलाएँ भारतीय संस्कृति और धर्म का अभिन्न हिस्सा हैं। जन्माष्टमी के दिन, भक्तजन उनके जन्म का उत्सव धूमधाम से मनाते हैं, भजन, कीर्तन, और पूजा-अर्चना करते हैं। श्री कृष्ण की कथा हमें सिखाती है कि सत्य और धर्म की विजय होती है और हमें अपने जीवन में अच्छाई की ओर अग्रसर रहना चाहिए।

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जन्माष्टमी की पूजा सामग्री और विधि

जन्माष्टमी के दिन, भगवान श्री कृष्ण की पूजा में विशेष सामग्री की आवश्यकता होती है। पूजा में तुलसी के पत्ते, फल, मिठाइयाँ, और फूल शामिल किए जाते हैं। श्रद्धालु विशेष रूप से इस दिन व्रत रखते हैं और भगवान कृष्ण की भव्य पूजा करते हैं।

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कृष्ण जन्माष्टमी भगवान कृष्ण के जन्म की पावन कथा का उत्सव है, जो श्रद्धा और भक्ति से मनाया जाता है। इस दिन भगवान कृष्ण के जन्म की कथा सुनने और पूजा करने से भक्तों को अपार आशीर्वाद प्राप्त होता है। इस पावन अवसर पर, भगवान कृष्ण की पूजा करके उनके आदर्शों का अनुसरण करना चाहिए और जीवन में भक्ति और धर्म को अपनाना चाहिए।

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