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1000 बच्‍चों में से 10 को जन्मजात हृदय रोग का खतरा, पेरेंट्स जानें जरूरी सलाह

  • Edited By Anjali Rajput,
  • Updated: 21 May, 2020 01:21 PM
1000 बच्‍चों में से 10 को जन्मजात हृदय रोग का खतरा, पेरेंट्स जानें जरूरी सलाह

देशभर में हृदय रोगियों की संख्या में लगातार बढ़ौतरी हो रही है। भारत में ही लगभग 17 लाख लोगों की दिल की बीमारी की वजह मौत हो जाती है। वहीं हाल ही में हुई एक रिसर्च के मुताबित, 1,000 बच्‍चों में से 10 बच्चों को हृदय रोग जन्मजात होता है। आइए जानते हैं कि दिल रोग क्या है और इससे कैसे बचा जाए...

क्या है जन्मजात हृदय विकार?

जन्मजात हृदय विकार यानि दिल की बनावट सही ना होना या दिल में छेद होना। एक्सपर्ट के मुताबिक, जन्मजात हृदय विकार, जन्म से ही हृदय और उसकी प्रमुख नलिकाओं की संरचना में मौजूद विकृति होती है। प्रत्येक 1,000 में से 10 बच्चों को जन्मगत हृदय विकृति होती है। सही उपचार ना होने की वजह से भारत में लगभग 10% अपने जान गवां बैठते हैं।

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क्या है दिल में छेद होना?

दिल में छेद होना, दिल से जुड़ी पैदाइशी बीमारियों में सबसे आम बीमारी है। इसे कंजेनाइटल हार्ट डिजीज भी कहते हैं, जो मां के पेट में ही बच्चे के ग्रोथ के साथ जुड़ी है।

कैसे पता लगाए बच्चे को है हृदय विकृति?

. नीलेपन (सायनोसिस)
. बार-बार छाती में संक्रमण
. तेज बुखार या धड़कनें तेज होना
. सीने में तेज दर्द होना
. स्तनपान करने में असमर्थ होना
. दूध पीते समय पसीना आना

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बड़े बच्चों में देखते हैं ये लक्षण...

. बड़े बच्चों में तेज धड़कन
. जल्दी थक जाना
. कभी-कभी चक्कर आना
. हाई ब्‍लड प्रेशर
. खाने में परेशानी
. बैठने में परेशानी

जन्मजात हृदय विकृति के कारण

. जेनेटिक
. रिश्तेदारों की आपस में शादी
. प्रेगनेंसी के दौरान रूबेला वायरस
. अधिक बच्चों के होने पर
. इसके अलावा प्रेगनेंसी के वक्त मां को दी गई कुछ दवाइयों के साइड-इफैक्ट से भी बच्चे को दिल की बीमारी होने की आशंका रहती है।

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पेरेंट्स को क्या करना चाहिए?

. अगर फैमिली में कोई हार्ट डिसीज हिस्ट्री है तो जन्म के बाद बच्चे का चेकअप करवाएं।
. शिशु की हृदय रोग विशेषज्ञ से जांच करवाएं।
. कंजेनाइटल हार्ट डिजीज से पीड़ित बच्चों को फैमिली सपोर्ट, प्यार और देखभाल की जरूरत होती है।
. अगर बच्चे स्कूल जा रहे हैं तो टीचर्स और साथी बच्चों को सपोर्ट करने के लिए कहें।
. टीचर्स को बताएं कि बच्चे हैंडीकैप नहीं हैं। बच्चे का दिल कमजोर है लेकिन दिमाग दूसरें बच्चों की तरह ही है।

Congenital Heart Disease: Causes, Symptoms And Treatment

क्या है इलाज?

अमेरिका में कंजेनाइटल हार्ट डिजीज से पीड़ित बच्चों की सर्जरी तब ही कर दी जाती है, जब वो 5 साल के होते हैं जबकि भारत में अक्सर इसकी सर्जरी देर से की जाती है। एंजियोग्राफी के जरिए अंब्रैला डिवाइस से छेद को बंद कर दिया जाता है। अगर दिल में एक से ज्यादा परेशानियां हो तो ओपन हार्ट सर्जरी की जाती है। अगर बीमारी मामूली हो तो दवा से इलाज किया जाता है।

कितना लंबा जीवन जीते हैं ऐसे लोग?

ऐसा बच्चे की केस हिस्ट्री पर निर्भर करता है। अगर समय पर पता चल जाए तो सर्जरी के द्वारा इस समस्या का निदान किया जा सकता है। इससे लोग लंबी जिंदगी जी सकते हैं। हालांकि उस दौरान भी हेल्दी लाइफस्टाइल और एक्सरसाइज के नियमों का पालन करना पड़ता होता है।

Caring for Those with Congenital Heart Disease | UF Health ...

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