फेमस हॉलीवुड सिंगर जस्टिन बीबर दुनियाभर में अपने गानों के चलते फेमस हैं पूरी दुनिया में उनके फैंस है लेकिन इस समय उनके फैंस के लिए बुरी खबर है क्योंकि जस्टिन बीबर एक खतरनाक बीमारी की चपेट में आ गए हैं। इस बीमारी के चलते उनका आधा चेहरा पैरालिसिस हो गया है। ना तो उनकी एक आंख सही से खुल रही है और ना उनका नाक हिल रहा है और ना ही वो अपने होंठों को हिलाकर स्माइल दे पा रहे हैं।
उन्होंने एक वीडियो शेयर करते हुए कहा, 'इस बीमारी ने मेरे चेहरे की नसों पर अटैक किया है। जिस वजह से ना तो मेरी एक आंख झपक नहीं रही है। इस तरफ से मैं स्माइल भी नहीं कर सकता हूं और इस तरफ की मेरी नाक भी नहीं हिल रही है।'
दरअसल जस्टिन को जो गंभीर बीमारी हुई है उसका नाम रामसे हंट सिंड्रोम (Ramsay Hunt syndrome) है। बहुत से युवा लोग अब इस तरह के फेशियल पेरालासिस के शिकार हो रहे हैं। ये बीमारी है क्या, इसके लक्षण क्या है और किन लोगों को इसका सबसे अधिक खतरा रहता है? चलिए आपको इस वीडियो में बताते हैं।
क्या है रामसे हंट सिंड्रोम?
यह बीमारी एक न्यूरोलॉजिकल डिसॉर्डर है जो मुंह, कान और चेहरे की नसों को प्रभावित करता है। इसमें कान और मुंह में दाने जैसे लक्षण दिखाई देते हैं। कभी-कभी बीमारी के कारण सुनने की क्षमता पर भी असर पड़ता है। यह वायरस कान के जरिए तंत्रिकाओं को नुकसान पहुंचाता है।
एक्सपर्ट की मानें तो रामसे हंट सिंड्रोम, हर्पीज जोस्टर ओटिकस (herpes zoster oticus) नाम के वायरस के कारण होता है। सामान्य वैरीसेला-जोस्टर वायरस चिकन पॉक्स का भी कारण बनता है, जो बच्चों में सबसे कॉमन होता है। यदि किसी को कभी भी चिकन पॉक्स हुआ है तो वह वायरस कभी भी एक्टिव हो सकता है और दाद का कारण बन सकता है।
कानों से चेहरे तक की नसों के पास के दाने, चेहरे की नसों और कान दर्द समेत कई समस्याओं का कारण बन सकता है। इस स्थिति में इंसान के चेहरे में पैरालिसिस या लकवा भी हो सकता है।
इस बीमारी के लक्षणों की बात करें तो...
सबसे अधिक दिखाई देने वाले लक्षणों में कान के पास दाद या चकत्ते पड़ना है।
फेस मसल्स पर कंट्रोल करना मुश्किल हो जाता है और ऐसा लगता है कि चेहरे का आधा हिस्सा बेजान हो चुका है।
हालांकि कुछ मामलों में लाल, मवाद से भरे फफोले भी देखे जा सकते हैं जो कान के अंदर, बाहर या आस-पास हो सकते हैं। ये दाने मुंह में भी दिखाई दे सकते हैं। खासकर गले में ऊपर की ओर ।
इसके अलावा कान में दर्द, गर्दन में दर्द।
. कान में आवाज आना
. बहरापन
. चेहरे के प्रभावित हिस्से वाली आंख बंद न होना
. स्वाद में कमी
. चक्कर आना
अगर आपको चेहरे पर किसी तरह के सुन्नपन, खिंचाव जैसे लक्षण दिखे तो तुरंत डाक्टरी चेकअप करवाएं क्योंकि अगर इलाज सही समय पर ना किया जाए तो चेहरे के मसल्स कमजोर हो सकते हैं और सुनने की क्षमता की कम हो सकती है।
किन लोगों को अधिक खतरा?
. इस समस्या का अधिक खतरा उन लोगों को रहता है जिन्हें पहले चिकन पॉक्स हो चुका है।
. 60 साल से अधिक उम्र के लोगों को इसका खतरा रहता है।
. जिन लोगों की इम्यूनिटी बहुत कमजोर होती है
. इसके अलावा कम उम्र में इस बीमारी के होने की वजह बिगड़ा लाइफस्टाइल, नींद की कमी, स्ट्रेस भी हो सकते हैं जबकि इस बारे में कोई स्पष्ट पुष्टि भी नहीं है।
इलाज की बात करें तो डाक्टर आपको आपकी स्थिति देखकर अलग-अलग तरह की दवाएं दे सकते हैं। साथ ही फेशियल एक्सरसाइज करने को कहते हैं।