बच्चे की त्वचा बहुत ही नाजुक होती है। हल्की सी खरोच से भी उनकी त्वचा पर रैशेज पड़ जाते हैं। बरसाती मौसम में बच्चों की त्वचा ज्यादा प्रभावित होती है। इस मौसम में बच्चे की गर्दन पर भी रैशेज हो जाते हैं। गर्मी और उमस के कारण बच्चे की गर्दन पर रैशेज हो सकते हैं। पसीना गंदगी के कारण भी शिशु की गर्दन पर सूजन, खुजली, दर्द और रेडनेस हो जाती है। आप बच्चे की इस समस्या को कम करने के लिए कुछ घरेलु नुस्खों का इस्तेमाल भी कर सकते हैं। तो चलिए आपको बताते हैं ऐसे कुछ घरेलु नुस्खे जिनके जरिए आप बच्चों की रैशेज के समस्या ठीक कर सकते हैं...
नारियल तेल के साथ
आप नारियल तेल का इस्तेमाल भी गर्दन के रैशेज ठीक करने के लिए इस्तेमाल कर सकते हैं। बच्चों की त्वचा बहुत ही सॉफ्ट होती है। कॉटन की सहायता से आप उनकी त्वचा पर नारियल तेल लगा सकते हैं। इसमें विटामिन-ई पाया जाता है। विटामिन-ई बच्चों की त्वचा के रैशेज ठीक करने में सहायता करते हैं। 15 मिनट के लिए आप प्रभावित स्थान पर नारियल का तेल लगाएं। तय समय के बाद आप बच्चे की त्वचा साफ पानी से धो दें।
ठंडी सिकाई करें
आप बच्चे की गर्दन के रैशेज को ठंडी सिकाई की मदद से भी ठीक कर सकते हैं। इससे बच्चे की सूजन भी कम होगी और दर्द में भी आराम मिलेगा। इस बात का ध्यान रखें कि बच्चे की त्वचा पर सीधे बर्फ न लगाएं। सबसे पहले किसी बर्तन में बर्फ मिलाएं। फिर टॉवल में लपेटकर प्रभावित स्थान पर बर्फ लगा दें।
शहद
शहद में भी रैशेज के लिए रामबाण उपाय माना जाता है। इसमें पाए जाने वाले एंटीमाइक्रोबियल गुण रैशेज से राहत दिलवाने में मदद करते हैं। शहद में बादाम का तेल मिलाकर आप शिशु की त्वचा पर लगाएं। 15-20 मिनट के बाद साफ पानी से जगह को साफ कर दें। शहद बच्चे की त्वचा के लिए सुरक्षित माना जाता है।
नीम का तेल
आप नीम का तेल भी बच्चों के रैशेज ठीक करने के लिए इस्तेमाल कर सकती हैं। इसमें एंटीबैक्टीरियल और एंटीफंगल गुण पाए जाते हैं। यह त्वचा से इंफेक्शन दूर करने में सहायता करता है। नीम का तेल आप शिशु की त्वचा पर लगाएं। 15-20 मिनट के बाद त्वचा सादे पानी से धो लें।