केंद्रीय माध्यमिक शिक्षा बोर्ड (सीबीएसई) ने शुक्रवार को 12वीं कक्षा के परीक्षा परिणाम घोषित कर दिए और 87.33 प्रतिशत विद्यार्थियों ने इस बार सफलता हासिल की है जो पिछले साल के मुकाबले 5.38 प्रतिशत कम है। हालांकि इस बार कोई मेरिट लिस्ट जारी नहीं की जाएगी।
अधिकारियों ने बताया कि बोर्ड ने विद्यार्थियों के अंकों के आधार पर उन्हें प्रथम, द्वितीय तथा तृतीय श्रेणी देने की प्रक्रिया से दूर रहने का भी फैसला किया है। बोर्ड के एक वरिष्ठ अधिकारी ने कहा- ‘‘सीबीएसई विद्यार्थियों के बीच अस्वस्थ प्रतिस्पर्धा से बचने के लिए कोई मेरिट लिस्ट घोषित नहीं करेगा। हालांकि, बोर्ड 0.1 प्रतिशत विद्यार्थियों को प्रवीण्यता (मेरिट) प्रमाणपत्र जारी करेगा जिन्होंने विभिन्न विषयों में सर्वाधिक अंक हासिल किए हैं।''
अधिकारी ने बताया कि विद्यार्थियों के पास होने का प्रतिशत कोविड-19 महामारी फैलने से पहले 2019 के 83.40 प्रतिशत से अधिक है। पिछले साल सीबीएसई की 12वीं कक्षा की परीक्षा में 92.71 प्रतिशत विद्यार्थी पास हुए थे। हर बार की तरह इस बार भी लड़कियों ने लड़कों से बाजी मारी है और उनकी उत्तीर्ण दर छह प्रतिशत अधिक रही।
सीबीएसई की 12वीं कक्षा की परीक्षा में 16.60 लाख से अधिक छात्र बैठे थे। त्रिवेंद्रम क्षेत्र में सबसे अधिक 99.91 प्रतिशत विद्यार्थी उत्तीर्ण हुए जबकि प्रयागराज क्षेत्र में सबसे कम 78.05 प्रतिशत विद्यार्थी उत्तीर्ण हुए। 1.25 लाख से अधिक विद्यार्थियों को कम्पार्टमेंट की श्रेणी में रखा गया है।