पीरियड्स में महिलाओं को पेट दर्द से लेकर बॉडी पेन, हार्मोनल बदलाव जैसी समस्याएं झेलनी पड़ती हैं। वहीं, मासिक धर्म में वैजाइना ब्लीडिंग भी होती है। पीरियड्स में गहरे लाल, भूरा, गुलाबी, ग्रे रंग का खून निकलता है। मगर, कुछ महिलाओं को इस दौरान काले रंग की ब्लीडिंग होती है, जिसे देख वो घबरा जाती हैं। ब्लैक ब्लड डिस्चार्ज को Black Periods के नाम से भी जाना जाता है। चलिए आपको बताते हैं पीरियड्स में क्यों आता है काले रंग का खून और कैसे लेकर चिंता कितनी जायज...
खराब लाइफस्टाइल सबसे बड़ा कारण
पीरियड्स में ब्लैक ब्लड निकलने के कई कारण हो सकते हैं, जिसमें गलत खानपान, जीवनशैली और पर्यावरण भी शामिल है। ऐसे में जरूरी है कि आप अपनी डाइट में हरी सब्जियां, फल, जूस, दूध , सुखे मेवे जैसी हैल्दी चीजें लेती रहें।
कई बीमारियों का संकेत
प्रेग्नेंसी, पेट या यूट्रस में इंफेक्शन, सर्वाइकल कैंसर के कारण भी पीरियड्स में काला खून निकल सकता है। दरअसल, काला खून पुराना होता है ,जो गर्भाशय में जमा होता रहता है और कुछ समय बाद निकलता है। ऐसे में आपको घबराने की जरूरत नहीं।
वैजाइना में किसी चीज की मौजूदगी
योनि में किसी चीज के फंसने जैसे गर्भनिरोधक उपकरण, कॉपर टी, टैम्पोन के कारण भी काले रंग की ब्लीडिंग हो सकता है। इसके कारण वैजाइना इंफेक्शन, योनि में गंध, स्राव आदि समस्याएं भी हो सकती है।
पीरियड्स की शुरुआत या अंत
कई बार पीरियड्स की शुरूआत या सिर्फ अंत में ही ब्लैक ब्लीडिंग होती है। दरअसल, कई बाद गर्भाश्य में मौजूद खून निकलने में थोड़ा समय लेता है जिसका कारण धीमी ब्लड सर्कुलेशन हो सकता है। इसके काऱण काले रंग की स्पॉटिंग भी हो सकती है। ऐसी स्थिति में खून का दौरा बढ़ाने वाली चीजें और आप वैजाइना की सही ढंग से सफाई करें।
पेल्विक इंफ्लेमेटरी डिजीज
पेल्विक इंफ्लेमेटरी डिजीज, गोनोरिया या क्लैमाइडिया, एसटीआई, या वैजाइना इंफेक्शन के कारण भी ऐसी ब्लीडिंग हो सकती है। इसके कारण संबंध बनाने या उस दौरान ब्लीडिंग, पेशाब करने में दिक्कत, पेल्विक एरिया में दर्द, वैजाइना में खुजली, ठंड लगने के साथ बुखार जैसे लक्ष्ण नजर आ सकते हैं।
सर्वाइकल कैंसर
ब्लैड ब्लीडिंग के साथ थकावट, वजन कम होना, पेशाब करने में दिक्कत और पेल्विक एरिया में दर्द जैसे लक्षण नजर आए तो यह सर्वाइकल कैंसर का संकेत भी हो सकता है। ऐसे में इसे सामान्य समझकर नजरअंदाज ना करें क्योंकि ये कैंसर लिवर, ब्लैडर, योनि, फेफड़ों और किडनी में फैल सकता है।
मिसकैरेज के कारण
गर्भपात के कारण भी आगे चलकर ब्लैक पीरियड्स ब्लड की समस्या हो सकती है। ऐसे में आपको एक्सपर्ट की सलाह लेनी चाहिए।
लोचिया के कारण
डिलीवरी के बाद 4-6 हफ्ते के बाद होने वाली ब्लीडिंग को लोचिया (Lochia) कहा जाता है, जिसमें काले के साथ गुलाबी और लाल रंग का खून निकल सकता है। ऐसे में अपने डॉक्टर से संपर्क करें।