डॉ. सैमुएल हैनीमेन की याद में 9-10 अप्रैल यानी की 2 दिन वर्ल्ड होम्योपैथिक डे मनाया जा रहा हैं। दरअसल, डॉक्टर सैमुअल एक फिजीशियन थे जिन्होंने होम्योपैथिक दवाओं की खोज की थी। हालांकि बाजार में आजकल सबसे ज्यादा डिमांड आयुर्वेदिक और एलोपैथिक दवाओं की हैं लेकिन फिर भी बहुत से लोग ऐसे है जो होम्योपैथिक दवाओं के इलाज में भरोसा करते हैं। वहीं, एक रिपोर्ट के अनुसार, किडनी और थायरायड रोग से निजात दिलाने के लिए सबसे अच्छा तरीका हौम्योपैथिक दवाएं है।
किडनी, थायराइड इलाज के लिए वरदान
दिल्ली के रहने वाले पद्मश्री डॉ. कल्याण बनर्जी का कहना हैं कि किडनी डैमेज की शुरूआत में जानकारी होने से 50 फीसदी मरीजों का इलाज होम्योपैथी से संभव हैं। रिपोर्ट के अनुसार, होम्योपैथिक इलाज शुरू होने के बाद जब किडनी डैमेज के मरीज तीसरी बार क्लीनिक आए तो 50-58.3 फीसदी मरीजों के सीरम यूरिया और क्रिएटिनिन के स्तर में सुधार देखा गया।
इन बीमारियों में भी फायदेमंद हैं होम्योपैथिक दवा
किडनी डैमेज या थायराइड में ही नहीं बल्कि वायरल फीवर, फ्लू और जुकाम , गले की खराश, पथरी, मासिक चक्र की गड़बड़ी, हार्मोनल समस्या, बांझपन, मेनोपॉज की परेशानी, पाइल्स, अस्थमा जैसी हैल्थ प्रॉब्लम में भी होम्योपैथिक दवाएं काफी फायदेमंद साबित होती हैं। इसके अलावा अगर आप लंबे समय से नशे की लत से परेशान हैं तो भी होम्योपैथिक इलाज करवा सकते हैं।
डॉक्टर की सलाह लेकर खाएं होम्योपैथिक दवाएं
कुछ लोगों का मानना हैं कि अगर ये दवाइयां किसी तरह का असर नहीं करती हैं तो इनका कोई नुकसान भी नहीं जोकि गलत हैं। वैसे तो बेहद धीरे-धीरे अपना असर दिखाने वाली होम्योपैथिक दवाइयां फायदेमंद है लेकिन इनका रख-रखाव और इनको लेने का गलत तरीका आपकी जान तक ले सकता हैं। इसलिए आपको हमेशा डॉक्टर की सलाह लेकर इन दवाइयों का सेवन करना चाहिए न कि खुद ही नीम हकीम बन जाएं। इसके अलावा आपको इन दवाइयों से जुड़े कुछ नियम भी मालूम होना चाहिए जो आपको साइड-इफैक्ट से बजाए रखेंगे।
होम्योपैथिक दवाइयां लेने के 6 निमय
सूर्य की रोशनी में खुला न रखें
होम्योपैथिक दवाओं को कभी भी सूर्य की सीधी रोशनी या फिर किसी खुली जगह पर न रखें क्योंकि इनका असर कम हो सकता हैं। बेहतर होगा कि इन दवाइयों को हमेशा किसी ठंडे तापमान वाली जगह पर स्टोर करें।
दवाइयों को न लगाएं हाथ
अक्सर लोग यह सोच कर मन चाही गोलियों का सेवन कर लेते हैं कि इनका कोई साइड-इफैक्ट नहीं हैं जोकि गलत हैं। दरअसल, होम्योपैथिक दवाओं को हमेशा गिनकर ढक्कन में लेना चाहिए और सीधे मुंह में डालें। दरअसल इन दवाइयों को हाथ लगाने से इनकी पोटेंसी कम हो जाती हैं।
खाने से पहले और बाद का नियम
होम्योपैथिक दवाओं को लेने का सबसे जरूरी नियम हैं कि इनको लेने से आधे घंटे पहले और आधे घंटे बाद तक कुछ भी खाना नहीं चाहिए। हालांकि लिक्विड वाली चीजें खाई जा सकती हैं लेकिन पहले एक्सपर्ट की सलाह अच्छे से जरूर लें।
डॉक्टर की सलाह भी जरूरी
होम्योपैथिक दवाओं का इलाज लेने वाले व्यक्ति डॉक्टर की सलाह के अनुसार ही खानपान रखना चाहिए क्योंकि आपकी जरा सी गलती आपको बड़ा नुकसान पहुंचा सकती हैं। माना जाता हैं कि होम्योपैथिक दवाओं के साथ अदरक, लहसुन, प्याज जैसी तामसिक चीजों का सेवन नहीं करना चाहिए।
ना लें आयुर्वेदिक-एलोपैथिक दवाएं
अगर आप होम्योपैथिक दवाओं का इलाज ले रहे हैं तो कभी भी साथ आयुर्वेदिक या एलोपैथिक दवाओं का सेवन न करें क्योंकि यह दवाइयां आपको नुकसान भी पहुंचा सकती हैं। हमेशा एक ही दवाई खाएं और उसक कोर्स पूरा करें। हार्ट, ब्लड प्रेशर, डायबिटीज के मरीज दवा को छोड़ने या शुरू करने से पहले डॉक्टक की सलाह जरूर लें।
खट्टी चीजों से करें परहेज
अगर आप होम्योपैथिक दवाएं खा रही हैं तो ध्यान रखें कि अपनी डाइट से खट्टी चीजों को हमेशा के लिए आउट कर दे क्योंकि खट्टी चीजें खाने से दवाइयां अपना असर नहीं दिखा पाती और इलाज अच्छे से नहीं हो पाता।