19 APRFRIDAY2024 1:46:30 AM
Nari

एंजेलिना से गौहर जान और फिर ऐसे बनी देश की पहली रिकॉर्डिंग सुपरस्टार

  • Edited By Priya verma,
  • Updated: 30 Jul, 2018 04:54 PM
एंजेलिना से गौहर जान और फिर ऐसे बनी देश की पहली रिकॉर्डिंग सुपरस्टार

दुनिया की सोच को बदला कोई आसान काम नहीं है। आज से कई साल पहले महिलाओं को समाज में आगे आने के लिए इतने मौके नहीं दिए जाते थे, जितने की अब मिल जाते हैं। इसी बीच किसी महिला का अपने हुनर के साथ आगे बढ़ना कोई आसान काम नहीं था। आज हम जिस महिला के बारे में बात कर रहे हैं, उनका नाम था गौहर जान, जिन्हें ‘रिकॉर्डिंग सुपरस्टार’ के नाम से भी जाना जाता है।


हम 19 वीं सदी के अंत और 20 वीं सदी के शुरुआत की बात कर रहे हैं, जब भारतीय संगीता का सम्मानित नाम थी गौहर जान। जो उस समय की पहली दिवा के रूप में उभर कर सामने आईं। इतना ही नहीं, वह ग्रामाफोन तकनीक का इस्तेमाल करने वाली पहली भारतीय महिला भी थीं। आइए जानें उनकी जीवन की कुछ खास बातें, जो औरतों के लिए प्रेरणा है। 

PunjabKesari

गौहर का जन्म 26 जून, 1873 में हुआ था। जन्म से उनका नाम गौहर नहीं था। उनका वास्तविक नाम एंजेलिना येओवर्ड था। मां का नाम विक्टोरिया हम्मिंग और पिता का नाम विलियम रोबर्ट येओवर्ड था, जो आजमगढ़ में एक ड्राई आइस फैक्ट्री में काम करते थे। जबकि उनकी मां भारतीय संगीत और नृत्य में पूरी तरह से पारंगत थी।

PunjabKesari


गौहर का नाम बदलने के पीछे का कारण था कि उनके माता-पिता की शादी ज्यादा देर नहीं चल सकी। 1879 में उनका तलाक हो गया और फिर वह अपनी बेटी को लेकर बनारस आ गईं। वहां पर गौहर की मां ने इस्लाम धर्म अपना लिया और अपना नाम मलका जान रखा। धर्म बदलने के बाद 8 साल की एंजेलिना का नाम बदल कर गौहर जान रखा गया।  

 


गौहर की मां मलका जान उम्दा गायिका और कत्थक डांसर थीं। बाद में किसी कारण मलका जान अपनी बेटी को लेकर कलकत्ता चली आई और वहां पर दोनो ने नवाब वाजिद अली शाह के दरबार में परफॉर्म करना शुरू किया। इसी के साथ गौहर ने सफलता की सीढी चढ़ना शुरू किया। उनकी कला से महाराज इतने प्रभावित हुए कि उन्हें दरबार में संगीतकार के तौर पर नियुक्त कर लिया।

PunjabKesari


उनकी आवाज और कला में इतना जादू था कि दिल्ली में किंग जॉर्ज वी की ताजपोशी के दौरान प्रदर्शन करने के लिए भी आमंत्रित किया गया था। इसी के साथ उनका रिकॉर्डिंग सुपरस्टार बनने का दौर भी शुरू हुआ। 

 

ग्रामोफोन का इस्तेमाल करने वाली पहली महिला
यह वह तकनीक थी जिसमें संगीत को रिकॉर्ड किया जाता था। साल 1920 में एक ग्रामोफोन कंपनी ने गौहर को गाने की रिकॉर्डिंद के लिए साइन किया। उस समय किसी महिला का स्टूडियो में जाकर गाना रिकॉर्ड करना कोई आम बात नहीं थी। गौहर वह पहली भारतीय बनीं, जिन्होने रिकॉर्डिंग के लिए 3 मिनट का राग गायन किया था। 

PunjabKesari


गौहर ने साल 1902 से 1920 तक 600 गीतों की रिकॉर्डिंग की और इसमें 10 से ज्यादा भाषाओं का इस्तेमाल किया गया। इसी वजह से वह भारत की पहली 'रिकॉर्डिंग स्टार' बन गई। 

 

बेहद स्टाइलिश थी गौहर जान
ग्रामोफोन कंपनी के एफ डब्ल्यू गैसबर्ग का गौहर के बारे में कहना है कि उनका स्टाइल भी बेहद आकर्षक था। वह जब भी रिकॉर्डिंग के लिए आती थी तो वह एक से बढ़कर सुंदर गाउन और बेहतरीन आभूषण थी। कपड़ों और ज्वैलरी को दोबारा रिपीट नहीं करती थी। इसके अलावा इनके साथ उनका खानसामां, उसके मददगार, निजी हकीम, धोबी और अन्य नौकर भी रहते थे। उनका गायन में कोई जवाब नहीं था। पहली रिकॉर्डिंग सुपरस्टार गौहर जान के आखिरी दिन अकेलेपन में गुजरे। 58 साल की उम्र में उन्होने दुनिया को अलविदा कहा। 

 

फैशन, ब्यूटी या हैल्थ महिलाओं से जुड़ी हर जानकारी के लिए इंस्टाल करें NARI APP

Related News